जेसिका लाल हत्याकांड का दोषी मनु शर्मा समय से पहले तिहाड़ जेल से रिहा

दक्षिण दिल्ली के मेहरौली इलाके में स्थित एक रेस्तरां में 30 अप्रैल 1999 को पूर्व केंद्रीय मंत्री विनोद शर्मा के बेटे मनु शर्मा ने जेसिका लाल की सिर्फ़ इसलिए गोली मारकर हत्या कर दी थी, क्योंकि उन्होंने उसे शराब देने से मना कर दिया था.

मनु शर्मा. (फोटो साभार: एएनआई)

दक्षिण दिल्ली के मेहरौली इलाके में स्थित एक रेस्तरां में 30 अप्रैल 1999 को पूर्व केंद्रीय मंत्री विनोद शर्मा के बेटे मनु शर्मा ने जेसिका लाल की सिर्फ़ इसलिए गोली मारकर हत्या कर दी थी, क्योंकि उन्होंने उसे शराब देने से मना कर दिया था.

मनु शर्मा. (फोटो साभार: एएनआई)
मनु शर्मा. (फोटो साभार: एएनआई)

नई दिल्लीः जेसिका लाल हत्याकांड में उम्रकैद की सजा काट रहे मनु शर्मा को सोमवार को तिहाड़ जेल से रिहा कर दिया गया.

दिल्ली के उपराज्यपाल ने मनु शर्मा को समय से पूर्व जेल से रिहा करने की मंजूरी दे दी है. आधिकारिक आदेश में इसकी जानकारी दी गई.

दिल्ली सरकार के अधीन आने वाले दिल्ली सजा समीक्षा बोर्ड (एसआरबी) ने पिछले महीने मनु शर्मा को समय से पूर्व रिहा करने का सुझाव दिया था.

सूत्रों ने बताया कि दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन की अध्यक्षता में 11 मई को हुई एसआरबी की बैठक में यह सिफारिश की गई थी.

इस सिफारिश को उपराज्यपाल अनिल बैजल ने मंजूरी दे दी है.

पूर्व केंद्रीय मंत्री विनोद शर्मा के बेटे मनु शर्मा को जेसिका लाल की हत्या के मामले में दिल्ली उच्च न्यायालय ने दिसम्बर 2006 में दोषी ठहराते हुए उम्रकैद की सजा सुनाई थी.

निचली अदालत ने उसे बरी कर दिया था, लेकिन उच्च न्यायालय ने उसके आदेश को पलट दिया, जिसे अप्रैल 2010 में उच्चतम न्यायालय ने बरकरार रखा था.

दक्षिण दिल्ली के मेहरौली इलाके में कुतुब कोलोनेड में सोशलाइट बीना रमानी के टैमरिंड कोर्ट नाम के रेस्तरां में 30 अप्रैल 1999 को मनु शर्मा ने जेसिका लाल की सिर्फ इसलिए गोली मारकर हत्या कर दी थी, क्योंकि उन्होंने उसे शराब देने से मना कर दिया था.

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, मनु शर्मा के वकील अमित साहनी ने मंगलवार को कहा कि उपराज्यपाल ने एसआरबी की सिफारिशों को स्वीकार कर लिया है, जिसके बाद मनु शर्मा को रिहा किया गया.

बता दें कि सजा समीक्षा बोर्ड के पास मनु शर्मा का नाम छठी बार आया था और इस बार दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल ने रिहाई पर मुहर लगा दी.

मनु शर्मा को जेल से रिहा करने की अपील पांच बार पहले भी कमेटी के सामने की गई थी लेकिन खारिज कर दी गई.

नई अपील आने से पहले तिहाड़ जेल प्रशासन, दिल्ली पुलिस और जेसिका लाल के परिजनों की ओर से भी कहा गया था कि मनु शर्मा को जेल से छोड़ने को लेकर उन्हें कोई आपत्ति नहीं है.

साल 2018 में जेसिका लाल की बहन सबरीना लाल ने तिहाड़ जेल प्रशासन को पत्र लिखकर कहा था कि मनु शर्मा को रिहा किए जाने को लेकर उन्हें किसी तरह की आपत्ति नहीं है.

मनु शर्मा अप्रैल महीने के पहले सप्ताह से ही पैरोल पर बाहर था. मनु को अच्छे व्यवहार की वजह से आजीवन कारावास की सजा पूरी होने से पहले जेल से रिहा किया गया.

वह 17 साल की जेल सजा काट चुका है.

रिपोर्ट के अनुसार, सजा समीक्षा बोर्ड ने 11 मई को हुई अपनी बैठक में मनु शर्मा की रिहाई का फैसला लिया था. इसके साथ ही 21 अन्य कैदियों की रिहाई की भी सिफारिश की गई थी.

जेसिका लाल हत्याकांड मामले के दोषी सिद्धार्थ वशिष्ठ उर्फ मनु शर्मा समय-पूर्व रिहाई दिए गए कैदियों की सूची में 18वें नंबर पर हैं.

किसी आवेदक द्वारा जेल में 14 साल पूरे किए जाने के बाद ही सजा में छूट के लिए उसकी याचिका पर विचार किया जाता है.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)