नोटबंदी असफल रही यह स्वीकार करने का साहस दिखाएं प्रधानमंत्री: चिदंबरम

पूर्व वित्त मंत्री ने कहा, आपको ग़लत निर्णय लेने के लिए साहस की ज़रूरत नहीं है, लेकिन आपने ग़लत निर्णय लिया है, यह स्वीकार करने का साहस होना चाहिए.

/

पूर्व वित्त मंत्री ने कहा, आपको ग़लत निर्णय लेने के लिए साहस की ज़रूरत नहीं है, लेकिन आपने ग़लत निर्णय लिया है, यह स्वीकार करने का साहस होना चाहिए.

aa-Cover-187h2jrdn2deir68a0bgeqss32-20161203150142.Medi
पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम. (फोटो: पीटीआई)

मुंबई: वरिष्ठ कांग्रेसी नेता और पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम ने शनिवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को यह स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए कि नोटबंदी का उनका फैसला गलत था.

पूर्व वित्त मंत्री चिदंबरम नोटबंदी को अर्थव्यवस्था के लिए नुकसानदायक बताते रहे हैं. उनका मानना है कि नोटबंदी के फैसले से 1.5 लाख रोजगारों का नुकसान हुआ और सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में 1.4 प्रतिशत अंक तक की कमी आई है. इससे सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों का कामकाज करीब करीब समाप्त हो गया.

चिदंबरम ने संवाददाताओं से कहा, आपको गलत निर्णय लेने के लिए साहस की जरूरत नहीं है, लेकिन आपने गलत निर्णय लिया है, यह स्वीकार करने के लिए साहस होना चाहिए. नोटबंदी गलत फैसला था और प्रधानमंत्री को यह स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए कि उन्होंने गलत निर्णय लिया.

चिदंबरम ने कहा, नौकरियां कहां हैं अप्रत्यक्ष तौर पर सरकार ने यह स्वीकार कर लिया है. एमएसएमई मंत्री कलराज मिश्र को हटा दिया गया है. कौशल विकास मंत्री को भी हटा दिया गया है. इसका मतलब यही है कि कौशल विकास और रोजगार सृजन दोनों मामलों में सरकार असफल रही है. श्रम मंत्री को भी हटा दिया गया है क्योंकि उनकी श्रम नीतियां भी असफल रही हैं.

पूर्व वित्त मंत्री ने कहा देश आज काफी बुरी आर्थिक नीतियों का सामना कर रहा है. सरकार की गलत नीतियों का खामियाजा युवाओं को भुगतना पड़ रहा है.

‘यह देखिए कि किसकी हत्या हो रही है’

पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या के बाद कांग्रेस शासित कर्नाटक में कानून-व्यवस्था की स्थिति पर सवाल खड़े किए जाने के बीच कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने शनिवार को कहा कि यह महत्वपूर्ण है कि किसे निशाना बनाया गया है.

चिदंबरम ने कहा, कांग्रेस सरकार में हो सकती है, कोई दूसरी पार्टी भी सरकार में हो सकती है. परंतु जिनकी हत्याएं की जा रही हैं वे धार्मिक कट्टरता, बहुसंख्यकवाद, अंधविश्वास, धार्मिक असहिष्णुता के खिलाफ बोलने वाले लोग हैं. यही मुद्दा है. इस बात को मत भूलिए.

चिदंबरम ने कलबुर्गी की हत्या में शामिल लोगों को ढूंढने में कर्नाटक सरकार की नाकामी को स्वीकार किया.