सोशल मीडिया पर केएफसी के पाकिस्तान स्थित फ्रेंचाइज़ी की अकाउंट से एक संदेश पोस्ट किया गया था, जिसमें कथित तौर पर कश्मीर के अलगाववादियों का समर्थन किया गया था. विवाद के बाद केएफसी इंडिया ने एक बयान में कहा कि हम भारत का सम्मान करते हैं और सभी भारतीयों की सेवा करने के अपने संकल्प के प्रति प्रतिबद्ध हैं.
नई दिल्ली: अमेरिका के फास्ट फूड रेस्टोरेंट चेन ‘केएफसी’ ने सोशल मीडिया पर कश्मीर संबंधी पोस्ट को लेकर लोगों की नाराजगी के बाद सोमवार को माफी मांग ली है. सोशल मीडिया पर कंपनी की पाकिस्तान स्थित फ्रेंचाइजी की पोस्ट में कश्मीर के अलगाववादियों का समर्थन किया गया है.
ट्विटर पर केएफसी इंडिया के आधिकारिक अकाउंट से जारी संदेश में कहा गया, ‘हम उस पोस्ट के लिए दिल से माफी मांगते हैं, जिसे देश के बाहर से केएफसी के कुछ सोशल मीडिया पर प्रकाशित किया गया था. हम भारत का सम्मान करते हैं और सभी भारतीयों की गर्व के साथ सेवा करने के अपने संकल्प के प्रति प्रतिबद्ध हैं.’
We deeply apologize for a post that was published on some KFC social media channels outside the country. We honour and respect India, and remain steadfast in our commitment to serving all Indians with pride.
— KFC India (@KFC_India) February 7, 2022
अमेरिका के ही एक अन्य रेस्टोरेंट चेन ‘पिज्जा हट’ ने भी बयान जारी करके कहा है कि वह सोशल मीडिया पर प्रसारित पोस्ट की सामग्री से न तो सहमत है और न ही उसका समर्थन करता है.
सोशल मीडिया पर केएफसी के अकाउंट से एक संदेश पोस्ट किया गया था जिसमें कश्मीर के अलगाववादियों का समर्थन किया गया था. पोस्ट में लिखा था ‘कश्मीर कश्मीरियों का है.’
केएफसी अमेरिका स्थित कंपनी यम (Yum) की सहायक कंपनी है. यम के पास पिज्जा हट और टैको बेल जैसे ब्रांड भी हैं. केएफसी ने जून 1995 में बेंगलुरु में एक रेस्तरां खोलकर आधिकारिक तौर पर भारतीय बाजार में प्रवेश किया था. अब यह अपने फ्रेंचाइजी भागीदारों के माध्यम से भारत में 450 से अधिक रेस्तरां का संचालन करता है.
इससे पहले 5 फरवरी को हुंडई मोटर्स को भी इसी तरह की मुसीबत का सामना करना पड़ा था, जब एक पाकिस्तानी डीलर ने सोशल मीडिया पर कश्मीरी अलगाववादियों का समर्थन करने वाली सामग्री पोस्ट कर दी थी.
हुंडई के पाकिस्तानी डीलर के ट्विटर अकाउंट से जो संदेश पोस्ट किया गया था उसमें ‘कश्मीर एकता दिवस’ का समर्थन किया गया था और उनके संघर्ष को ‘स्वतंत्रता संघर्ष’ कहा गया है.
इस पोस्ट के बाद ट्विटर पर ‘हैशटैग बॉयकाट हुंडई ट्रेंड’ करने लगा और कई लोग हुंडई के उत्पाद नहीं खरीदने की अपील करने लगे. इसके बाद हुंडई मोटर्स इंडिया ने सोशल मीडिया पर एक संदेश जारी कर स्पष्ट किया था कि वह भारतीय बाजार के प्रति प्रतिबद्ध है.
कंपनी ने पोस्ट कर कहा, ‘हुंडई मोटर इंडिया बीते 25 से अधिक वर्षों से भारतीय बाजार के लिए प्रतिबद्ध है और हम राष्ट्रवाद का सम्मान करने के लिए मजबूती से खड़े हैं.’
बता दें कि हुंडई मोटर इंडिया भारत में मारुति सुजुकी इंडिया के बाद दूसरी सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी है. यह घरेलू बाजार में क्रेटा और वेन्यू सहित 12 मॉडल बेचती है.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)