क्या कोविड महामारी को सामाजिक बदलाव लाने के मौक़े के तौर पर देखा जा सकता है?

बीते कुछ सालों से बहुसंख्यकवाद पर सामाजिक ऊर्जा और विचार दोनों ख़र्च किए गए, लेकिन आज संकट की इस घड़ी में बहुसंख्यकवादी इंफ्रास्ट्रक्चर कितना काम आ रहा है? महामारी ने यह अवसर दिया है कि अपनी प्राथमिकताएं बदलकर संकुचित, उग्र और छद्म राष्ट्रवाद को त्याग दिया जाए.

अल्पसंख्यक मुद्दे उठाने में सावधान रहें, भाजपा को ध्रुवीकरण का मौक़ा न दें: सलमान ख़ुर्शीद

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सलमान ख़ुर्शीद ने राजस्थान के स्थानीय निकायों में पार्टी के नवनिर्वाचित पार्षदों के सम्मान में आयोजित एक कार्यक्रम में कहा कि हम भाग्यशाली हैं कि ग़ैर-मुस्लिम हमेशा हमारी चिंताओं को उठाते रहे हैं.

सिर्फ़ तीन प्रतिशत मुस्लिम छात्रों को ही दिल्ली के प्राइवेट स्कूल में मिलता है दाखिला: रिसर्च

वीडियो: एक रिसर्च से खुलासा हुआ है कि दिल्ली के प्राइवेट स्कूलों में मुस्लिम छात्रों को प्री प्राइमरी स्तर पर दाखिले के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है. महज़ तीन प्रतिशत मुस्लिम छात्रों को ही स्कूल में दाखिला मिल पा रहा है. इस विषय पर रिसर्च करने वाली जन्नत फातिमा फारूकी से मुकुल सिंह चौहान की बातचीत.

तमिलनाडु: मुख्यमंत्री ने सीएए विरोधी प्रदशर्नकारियों के ख़िलाफ़ मामले वापस लेने की घोषणा की

पिछले महीने भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने अगामी तमिलनाडु विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा और एआईएडीएमके गठबंधन की पुष्टि की है. एआईएडीएमके नेता और राज्य के मुख्यमंत्री के. पलानीस्वामी ने एक सभा में अल्पसंख्यकों को संबोधित करते हुए कहा है कि उन्हें एआईएडीएमके-भाजपा गठबंधन से डरने की ज़रूरत नहीं.

क्या भारत कट्टरता के मामले में पाकिस्तान बनने की राह पर है?

बहुत साल पहले पाकिस्तान की कवियित्री फ़हमीदा रियाज़ ने लिखा था कि 'तुम बिल्कुल हम जैसे निकले, अब तक कहां छुपे थे भाई. वो मूरखता वो घामड़पन, जिसमें हमने सदी गंवाई, आख़िर पहुंची द्वार तुम्हारे... देश के आज के हालात में ये पंक्तियां सच के काफ़ी क़रीब नज़र आती हैं.

एमपी: सांप्रदायिक झड़प के बाद सड़क चौड़ीकरण के नाम पर प्रशासन ने 13 घर आंशिक तौर पर ढहाए

मध्य प्रदेश में इंदौर ज़िले के मुस्लिम बाहुल्य चंदन खेड़ी गांव की घटना. बीते 29 दिसंबर को अयोध्या में राम मंदिर के लिए धन जुटाने के लिए श्रीरामजन्मभूमि निर्माण समिति के बैनर तले रैली के दौरान यहां सांप्रदायिक झड़प हो गई थी. प्रशासन का कहना है कि ये घर सरकारी ज़मीन पर अवैध रूप से अतिक्रमण कर बनाए गए थे.

असम विधानसभा में सरकारी मदरसे समाप्त करने के प्रावधान वाला विधेयक पारित

विपक्ष ने मदरसों को बंद करने के असम सरकार के क़दम की आलोचना करते हुए आरोप लगाया कि राज्य में यह ध्रुवीकरण का हथकंडा है जहां अगले साल मार्च-अप्रैल में चुनाव होने हैं. कैबिनेट ने यह भी निर्णय लिया है कि 97 मौजूदा सरकारी संस्कृत संस्थानों को अध्ययन केंद्र और अनुसंधान केंद्रों में परिवर्तित किया जाएगा.

योगी सरकार के अंतरधार्मिक विवाहों को निशाना बनाने के पीछे मनु के आदर्श फैलाने की मंशा है

योगी आदित्यनाथ सरकार के नए क़ानून का उद्देश्य केवल ध्रुवीकरण नहीं बल्कि स्त्रियों को उनके अधिकारों और अपने लिए निर्णय लेने की उनकी क्षमता से उन्हें वंचित करना भी है.

‘लव जिहाद’ को लेकर हो रही राजनीति संघी मनुवाद का नया संस्करण है

उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा लाया गया ‘लव जिहाद' कानून और कुछ नहीं मनुस्मृति का ही नया रूप है, जो महिलाओं को समुदाय की संपत्ति मानकर ग़ुलाम बनाता है और संघर्षों से हासिल किए हुए अधिकारों को फिर छीन लेना चाहता है. यह जितना मुस्लिम विरोधी है, उतना ही हिंदू महिलाओं और दलितों का विरोधी भी है.

मनु का क़ानून और हिंदू राष्ट्र के नागरिकों के लिए उसके मायने

हिंदू राष्ट्र का ढांचा और उसकी दिशा मनुस्मृति में बताए क़ानूनी ढांचे के अंतर्गत ही तैयार होंगे और ये क़ानून जन्म-आधारित असमानता के हर पहलू- सामाजिक, आर्थिक और लैंगिक, सभी को मज़बूत करने वाले हैं.

सामाजिक न्याय का दावा करने वाली राजद से क्यों नाराज़ हैं अंसारी मुसलमान

ग्राउंड रिपोर्ट: मुस्लिम और यादवों को आम तौर पर राजद का समर्थक माना जाता है, लेकिन मुस्लिमों का अंसारी समुदाय राजद द्वारा उनके नेताओं को राज्य की चुनावी राजनीति में समुचित प्रतिनिधित्व न देने को लेकर ख़ासा नाराज़ है.

बलात्कार के मामले इतने अधिक आ रहे हैं, लगता ही नहीं कोई सरकार भी है: महिला अधिकार कार्यकर्ता

महिला अधिकार कार्यकर्ता और सेंटर फॉर सोशल रिसर्च की निदेशक रंजना कुमारी का कहना है कि महिला आयोग एक तरीके से सरकारी संरक्षण का अड्डा बन गया है. जिसे कहीं नहीं ‘एडजस्ट’ कर पा रहे हैं, उनको बैठा दिया जाता है. यहां पर महिलाओं के प्रति कोई संजीदगी नहीं है. अगर होती तो आज पूरा आयोग हाथरस में दिखना चाहिए था.

बीते चार साल में पाकिस्तान के 2,120, अफ़गानिस्तान के 188, बांग्लादेश के 99 लोगों को नागरिकता दी: केंद्र

केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने राज्यसभा को बताया है कि 2017 से 17 सितंबर 2020 तक कुल 2,729 लोगों को भारतीय नागरिकता दी गई. इनमें अमेरिका, श्रीलंका, नेपाल, ब्रिटेन, मलेशिया, कनाडा और सिंगापुर के लोग भी शामिल हैं.

अमेरिका में ब्लैक लोगों का प्रदर्शन, भारत में अल्पसंख्यकों को इंसाफ़ कब?

वीडियो: बीती 25 मई को अमेरिका के मिनीपोलिस में एक पुलिस अधिकारी डेरेक चाउविन ने अश्वेत जॉर्ज फ्लॉयड के गले को घुटनों से कई मिनट तक दबाए रखा था, जिसके चलते उनकी मौत हो गई थी. घटना के बाद से नस्लभेद के ख़िलाफ़ अमेरिका सहित विभिन्न देशों में प्रदर्शन शुरू हो गए हैं. इस मुद्दे पर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी का नज़रिया.

पाकिस्तान ने अल्पसंख्यक आयोग को पुनर्गठित किया

पाकिस्तान की ओर से यह कदम मानवाधिकार की उस रिपोर्ट के आने के बाद उठाया गया है, जिसमें खुलासा हुआ था कि 2019 में विवादास्पद ईशनिंदा कानून के तहत अल्पसंख्यकों का उत्पीड़न और उनका जबरन धर्मांतरण जारी है.

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