सुप्रीम कोर्ट में एक हलफ़नामे के ज़रिये आयोग ने कहा कि राजनीति को अपराध मुक्त बनाने की दिशा में और प्रभावी क़दम उठाने के लिए क़ानून में संशोधन की ज़रूरत होगी जो चुनाव आयोग के अधिकार क्षेत्र से बाहर है.
सुप्रीम कोर्ट ने एक याचिका की सुनवाई के दौरान मांगा जवाब, याचिका में केंद्र से 40,000 करोड़ के सूखा राहत पैकेज, कृषि ऋण माफी और कावेरी प्रबंधन बोर्ड की स्थापना की मांग की गई है.
प्रधान न्यायाधीश जेएस खेहर ने कहा कि नागरिकों की याददाश्त अल्पकालिक होने की वजह से चुनावी घोषणा पत्र कागज के टुकड़े बनकर रह जाते हैं.