नोटबंदी के बाद बैंकों को मिले सबसे ज़्यादा जाली नोट, संदिग्ध लेन-देन के मामले भी बढ़े: रिपोर्ट

फाइनेंशियल इंटेलीजेंस यूनिट की रिपोर्ट के अनुसार, जाली मुद्रा रिपोर्ट (सीसीआर) की संख्या 2015-16 के 4.10 लाख से बढ़कर 2016-17 में 7.33 लाख पर पहुंच गई. संदिग्ध लेन-देन में भी 480 प्रतिशत से भी अधिक का इज़ाफ़ा.