यूट्यूब व्लॉगर कार्ल रॉक नाम से मशहूर कार्ल एडवर्ड राइस को भारत में प्रवेश के लिए वीज़ा से इनकार करने के साथ उनका नाम काली सूची में डाल दिया गया है. केंद्रीय गृह मंत्रालय के अधिकारियों ने कहा है कि उन्होंने वीज़ा नियमों एवं शर्तों का उल्लंघन किया है. अधिकारियों ने कहा कि उन्हें पर्यटन वीज़ा पर कारोबारी गतिविधियां करते और अन्य वीज़ा नियमों का उल्लंघन करते पाया गया है.
पारदर्शिता कार्यकर्ता और इंटरनेट फ्रीडम फाउंडेशन के कार्यकारी निदेशक अपार गुप्ता ने गृह मंत्रालय में छह आरटीआई आवेदन दायर कर फोन टैंपिंग, मॉनीटरिंग, इंटरसेप्शन से संबंधित कई सूचनाएं मांगी थीं. मंत्रालय ने इससे इनकार कर दिया था. मुख्य सूचना आयुक्त वाईके सिन्हा ने मंत्रालय को निर्देश दिया कि वे इससे संबंधित तर्कपूर्ण फैसला लें और 31 जुलाई तक आयोग के सामने रिपोर्ट दायर करें.
आरटीआई कार्यकर्ता वेंकटेश नायक ने दो आवेदन दायर कर इस विदेशी अंशदान (विनियमन) संशोधन विधेयक, 2020 से जुड़े कैबिनेट नोट, पत्राचार और फाइल नोटिंग्स की प्रति मांगी थी. आरोप है कि इस संशोधन क़ानून के चलते कई एनजीओ के काम में बाधा आ रही है.
बीते सोमवार केंद्र सरकार के अनुरोध पर ट्विटर ने कई एकाउंट्स पर रोक लगा दी थी. हालांकि उसी दिन देर रात तक यह रोक हटा दी गई. अब सरकार का कहना है कि ट्विटर हैशटैग मोदी प्लानिंग फार्मर जिनोसाइड लिखने वाले एकाउंट हटाने संबंधी उसके निर्देश माने या फिर इसका नतीजा भुगतने को तैयार रहे.
ट्विटर ने जिन एकाउंट पर रोक लगाई है उनमें कारवां पत्रिका, किसान एकता मोर्चा, माकपा के मोहम्मद सलीम, कार्यकर्ता हंसराज मीणा, अभिनेता सुशांत सिंह, प्रसार भारती के सीईओ समेत कई पत्रकार और लेखक भी शामिल हैं.
पहलगाम से नेशनल कॉन्फ्रेंस के पूर्व विधायक अल्ताफ़ अहमद वानी ने बताया कि एक पारिवारिक कार्यक्रम में शिरकत करने के लिए उन्हें दुबई की फ्लाइट में चढ़ने से रोक दिया गया. गृह मंत्रालय के अधिकारियों ने कहा कि कश्मीर नेताओं की विदेश यात्रा पर लगे प्रतिबंध की दुर्भाग्य से केंद्रशासित प्रशासन द्वारा समीक्षा नहीं की गई थी, मगर अब की जा रही है.
केंद्र सरकार ने कंटेनमेंट ज़ोन के बाहर वाले इलाकों के लिए प्रभावी दिशानिर्देशों को 30 नवंबर तक बढ़ा दिया है. साथ ही राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को चरणबद्ध तरीके से स्कूल और कोचिंग संस्थान खोलने पर फ़ैसला करने की अनुमति दी गई है.
साल 2019 में राजद्रोह के 93 मामले दर्ज किए गए थे, जो इससे पहले के सालों के मुक़ाबले अधिक हैं, हालांकि केवल तीन फीसदी राजद्रोह मामलों में ही आरोपों को साबित किया जा सका.
अनलॉक-5 के तहत राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों की सरकारों को कैंटोनमेंट जोन के बाहर 15 अक्टूबर के बाद विशेष छूट के साथ 200 लोगों के इकट्ठा होने की अनुमति देने का अधिकार होगा. नए दिशानिर्देश बिहार में 27 अक्टूबर से तीन चरणों में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले आए हैं.
विदेशी अंशदान विनियमन (संशोधन) विधेयक, 2020 लोकसभा में पेश कर दिया गया है. विधेयक के लक्ष्य और कारणों में कहा गया है कि साल 2010 और 2019 के बीच विदेशी योगदान की वार्षिक आमद लगभग दोगुनी हो गई है, लेकिन इसके कई प्राप्तकर्ताओं ने इस धन को उस उद्देश्य के लिए उपयोग नहीं किया है जिसके लिए उन्हें पंजीकृत किया गया था.
सरकार ने संसद में यह जानकारी भी दी कि साल 2017 और 2018 में देश भर में 1,198 लोगों को राष्ट्रीय सुरक्षा कानून या रासुका के तहत हिरासत में लिया गया. मध्य प्रदेश में रासुका के तहत साल 2017 और 2018 में सर्वाधिक लोगों को हिरासत में लिया गया. इसके बाद उत्तर प्रदेश का स्थान है.
प्रतिबंधित होने से पहले उल्फा के ब्रिटेन से मदद मांगने का खुलासा ब्रिटेन के नेशनल आर्काइव्स द्वारा कुछ गोपनीय दस्तावेजों को हाल में सार्वजनिक किए जाने के बाद हुआ है. उल्फा के तत्कालीन तीन शीर्ष नेताओं से मुलाकात के बाद बांग्लादेश में ब्रिटिश राजनयिक डेविड ऑस्टिन ने एक पत्र लिख ब्रिटेन को बताया था कि उल्फा इजरायल से प्रभावित है.
अनलॉक-4 के दिशानिर्देशों में गृह मंत्रालय ने आंशिक रूप से स्कूल खोलने की बात कही है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस बारे में जारी निर्देशों में कहा है कि केवल कंटेनमेंट ज़ोन के बाहर के स्कूल खोले जा सकते हैं. कंटेनमेंट ज़ोन में रहने वाले छात्रों, शिक्षकों या अन्य स्टाफ को स्कूल आने की इजाज़त नहीं होगी.
असम राइफल्स पर पूर्ण नियंत्रण को लेकर केंद्रीय गृह मंत्रालय और रक्षा मंत्रालय के बीच विवाद है. गृह मंत्रालय चाहता है कि उसे पूरा नियंत्रण मिले, लेकिन भारतीय सेना इसके विरोध में है. वर्तमान में पूर्वोत्तर में तैनात असम राइफल्स का प्रशासनिक नियंत्रण गृह मंत्रालय के पास है और ऑपरेशनल कंट्रोल सेना के पास है.
अनलॉक-4 के दिशानिर्देशों में 22 मार्च से बंद दिल्ली मेट्रो को चरणबद्ध तरीके से संचालन शुरू करने की अनुमति दी गई है. साथ ही कहा गया है कि केंद्र से परामर्श किए बिना राज्य सरकारें कंटेनमेंट ज़ोन के बाहर कोई स्थानीय लॉकडाउन नहीं लगा सकेंगी.