संयुक्त राष्ट्र की चार एजेंसियों द्वारा जारी रिपोर्ट में कहा गया है कि महामारी से करीब विश्व में 1.9 अरब लोगों के लिए पौष्टिक भोजन जुटा पाना मुश्किल हो रहा है. नवीनतम अनुमानों के मुताबिक, दुनिया में 68.8 करोड़ लोग कुपोषण के शिकार हैं और इनमें से आधे से ज़्यादा एशिया में हैं.
बीते 13 दिसंबर को भाजपा ने रोज़गार आश्वासन कार्ड देने वाले अभियान को शुरू करते हुए पार्टी के आगामी विधानसभा चुनाव जीतने पर 75 लाख युवाओं को रोज़गार देने का वादा किया था. अब इस अभियान को रोक दिया गया है.
वाणिज्य विभाग से जुड़ी संसद की स्थायी समिति की रिपोर्ट में कहा गया है कि ऑटोमोबाइल उद्योग संगठनों के अनुसार, इस क्षेत्र में अनुमानित रूप से 3.45 लाख नौकरियों का नुकसान हुआ. कम मांग और वाहनों की बिक्री में कमी आने के कारण निर्माताओं ने अपना उत्पादन 18-20 फ़ीसदी कम कर दिया है.
हरियाणा के ‘रोज़गार विधेयक, 2020’ में निजी क्षेत्र की ऐसी नौकरियों में स्थानीय लोगों के लिए 75 प्रतिशत आरक्षण प्रदान किया गया, जिनमें वेतन प्रति माह 50,000 रुपये से कम है. इस विधेयक के प्रावधान निजी कंपनियों, सोसाइटियों, ट्रस्टों और साझेदारी वाली कंपनियों पर भी लागू होंगे.
ग्राउंड रिपोर्ट: बिहार के दरभंगा ज़िले के किरतपुर प्रखंड का कुबौल गांव कोसी नदी के बाढ़ क्षेत्र में आता है. बाढ़ के कई महीनों बाद तक पानी में डूबा रहने वाला यह गांव उन बुनियादी सुविधाओं से भी महरूम है, जिन्हें नीतीश सरकार अपनी उपलब्धि के तौर पर गिनवा रही है.
ग्राउंड रिपोर्ट: आजीविका की तलाश में राज्य से पलायन की जिस बात को बिहार में चुनावी मुद्दा बताया जा रहा है, उसे मधुबनी ज़िले के बस्सीपट्टी गांव के लोग अपनी नियति मानकर स्वीकार कर चुके हैं.
कई ग़ैर सरकारी संगठनों और कार्यकर्ताओं का मानना है कि नए एफसीआरए संशोधनों के कारण उनके काम में बाधा आएगी और कई लोगों को अपनी नौकरी से हाथ धोना पड़ सकता है. इस विधेयक के प्रावधानों से छोटे एनजीओ के सामने अस्तित्व का संकट खड़ा हो जाएगा.
वीडियो: बीते 20 सितंबर को विपक्ष ने लोकसभा में पेश किए गए एफसीआरए यानी विदेशी अंशदान (विनियमन) संशोधन विधेयक का विरोध यह कहते हुए किया कि सरकार इसके जरिये ‘आलोचकों पर निशाना’ साधना चाह रही है. इस क़ानून और इसके प्रभावों के बारे में बता रहे हैं द वायर के डिप्टी एडिटर गौरव विवेक भटनागर.
संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने कहा है कि पर्यटन वैश्विक अर्थव्यवस्था का ईंधन है. महामारी की वजह से इस क्षेत्र की आय बुरी तरह प्रभावित हुई है. पर्यटन उद्योग में 12 करोड़ नौकरियां ख़तरे में हैं.
रेलवे बोर्ड ने एक आदेश में कहा कि औपनिवेशिक काल से चले आ रहे खलासी पदों की समीक्षा के बाद निर्णय लिया गया है कि अब इनकी भर्ती नहीं होगी. साथ ही एक जुलाई 2020 से इन पदों पर की गई नियुक्तियों की भी समीक्षा की जाएगी.
कर्नाटक के मंड्या ज़िले के श्रीरंगापट्टनम स्थित गोकुलदास एक्सपोर्ट्स कंपनी ने अपनी एक इकाई ‘यूरो क्लॉथिंग कंपनी-2’ कोरोना वायरस के कारण लागू लॉकडाउन के चलते बंद कर दी है. इसके बाद से कर्मचारी कंपनी के बाहर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं.
वीडियो: दिल्ली गोल्फ़ क्लब ने 66 कर्मचारियों को पिछले सप्ताह निकाल दिया गया. क्लब प्रबंधन ने छंटनी का कारण कोरोना वायरस के कारण हो रही आमदनी में गिरावट को बताया है.
कोरोना वायरस संबंधित छंटनी अब भारतीय मीडिया उद्योग पर भी दिखने लगी है, कई समाचार पत्र और न्यूज़ चैनल ऐसे हैं जिनमें मीडियाकर्मियों की नौकरी जा रही हैं. इसी बीच एक निजी चैनल के कर्मचारियों में भी संक्रमण पाया गया है. इसे मुद्दे पर वरिष्ठ पत्रकार उर्मिलेश की राय.
कंपनी का कहना है कि कोरोना वायरस संकट की वजह से उसके व्यवसाय पर नकारात्मक असर पड़ा है, इसलिए वह देशभर के अपने विभिन्न कार्यालयों में कर्मचारियों की संख्या कम कर रहे हैं. इससे पहले जोमैटो ने भी अपने 13 प्रतिशत कर्मचारियों की छंटनी और कर्मचारियों की तनख्वाह में कटौती की घोषणा की थी.
मध्यम वर्ग को पता है कि छह साल में उसकी कमाई घटी ही है, बिजनेस में गच्चा ही खाया है. उसके मकानों की कीमत गिर गई है, हर राज्य में सरकार नौकरी की प्रक्रिया की दुर्गति है, वह सब जानता है, लेकिन ये समस्याएं न तो नौजवानों की प्राथमिकता हैं और न ही उनके मध्यमवर्गीय माता-पिता की.