वाराणसी: जब कांग्रेस ने वामपंथी नेता रुस्तम सैटिन को ‘हिंदू-मुसलमान’ करके हराया!

1957 में उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में वाराणसी दक्षिणी निर्वाचन क्षेत्र से एंटी-इंकंबेंसी झेल रहे प्रदेश के मुख्यमंत्री डाॅ. संपूर्णानंद के सामने स्वतंत्रता सेनानी व वामपंथी नेता रुस्तम सैटिन खड़े हुए थे. हालांकि उनकी हिंदू-मुस्लिम एकता की पैरोकारी पर मुस्लिम सांप्रदायिकता की तोहमत लगाकर उन्हें हरा दिया गया.

बीएचयूः एबीवीपी के विरोध के बाद उर्दू विभाग ने वेबिनार का पोस्टर वापस लिया, माफ़ी मांगी

बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी के उर्दू विभाग ने एबीवीपी के विरोध के बाद आठ नवंबर को एक वेबिनार के ऑनलाइन पोस्टर को आधिकारिक रूप से वापस ले लिया. संगठन पोस्टर में उर्दू शायर अल्लामा इक़बाल की फोटो के इस्तेमाल का विरोध कर रहा था.

शिव प्रसाद गुप्त: गांधी ने जिन्हें राष्ट्ररत्न कहा था, लोगों ने उन्हें भुला दिया

वाराणसी के समाजसेवी शिवप्रसाद गुप्त को आज उनके शहर के बाहर कोई जयंती या पुण्यतिथि पर भी याद नहीं करता, लेकिन कभी देश की आज़ादी की लड़ाई के साथ समाज के उत्थान में उनके योगदान के चलते महात्मा गांधी उन्हें राष्ट्ररत्न कहा करते थे.

मालवीय की विरासत को नज़रअंदाज़ कर रहा है बीएचयू

सरोजिनी नायडू ने मदन मोहन मालवीय को ‘रुढ़िवादी-प्रगतिशील नेता’ कहा था. संघ परिवार ने अपने एजेंडा के लिए उनके रुढ़िवादी पहलू का तो इस्तेमाल किया, लेकिन उनके प्रगतिशील दृष्टिकोण को पूरी तरह नज़रअंदाज़ कर दिया.