मीडिया बोल के इस अंक में कश्मीर से अनुच्छेद 370 के ख़त्म होने पर कश्मीर पर केंद्र के पूर्व वार्ताकार एमएम अंसारी, पत्रकार बरखा दत्त और फिल्मकार संजय काक के साथ चर्चा कर रहे हैं वरिष्ठ पत्रकार उर्मिलेश.
पुलिस और सेना का इस्तेमाल करके आम राय को कुछ समय के लिए दबाया जा सकता है, लेकिन क्या इससे राज्य में लंबे समय के लिए शांति सुनिश्चित की जा सकती है?
राज्यसभा में गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि जम्मू कश्मीर में आतंकवाद और गरीबी का मूल कारण अनुच्छेद 370 था. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शाह के भाषण को अतीत के ऐतिहासिक अन्याय को सटीक ढंग से रेखांकित करने वाला बताया.
जम्मू कश्मीर पुनर्गठन विधेयक और जम्मू कश्मीर आरक्षण (द्वितीय संशोधन) विधेयक 2019 को 61 के मुकाबले 125 मतों से मंजूरी दे दी गई.
वीडियो: जम्मू कश्मीर से संविधान की अनुच्छेद 370 ख़त्म किए जाने पर वरिष्ठ पत्रकार उर्मिलेश से विशाल जायसवाल की बातचीत.
पाकिस्तान ने जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 समाप्त करने संबंधी भारत के फैसले को ख़ारिज किया. पाकिस्तान के राष्ट्रपति ने मंगलवार को संसद का संयुक्त सत्र बुलाया.
जम्मू कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को ख़त्म करने के केंद्र की मोदी सरकार के फैसले के बाद सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में हाई अलर्ट. सुरक्षा बलों को सतर्क रहने को कहा गया.
कांग्रेस नेता गुलाम नबी आज़ाद ने कहा कि अनुच्छेद 370 ने जम्मू कश्मीर को एक सूत्र में बांधकर रखा था लेकिन भाजपा सरकार ने सत्ता के नशे में और वोट हासिल करने के लिए राजनीति, संस्कृति और भूगोल से भिन्न तरह के राज्य जम्मू कश्मीर में एक झटके में चीज़ों को ख़त्म कर दिया.
सोमवार को राज्यसभा में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने जम्मू कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 और अनुच्छेद 35ए को हटाने का प्रस्ताव पेश किया.
केंद्र सरकार ने सोमवार को राष्ट्रपति के आदेश से जम्मू-कश्मीर से राज्य का विशेष दर्जा छीनते हुए धारा 370 को हटा दिया है. गृहमंत्री अमित शाह ने धारा 370 को खत्म करने के लिए राज्यसभा में सिफारिश की थी.
जम्मू कश्मीर में सुरक्षा कारणों से अतिरिक्त सुरक्षाबलों की संख्या बढ़ाए जाने के बाद जारी अनिश्चितता की स्थिति बरकरार है. वहीं, कांग्रेस नेता उस्मान माजिद और माकपा नेता एमवाई तारिगामी ने दावा किया कि उन्हें रविवार रात को गिरफ्तार कर लिया.
राज्य सरकार ने मामले में तीन पुलिसकर्मियों को मिली कम सजा और एक आरोपी की रिहाई को भी चुनौती दी है.
जम्मू कश्मीर में अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती और अमरनाथ यात्रा पर रोक और कई अन्य सरकारी आदेशों से राज्य में अफरातफरी और अनिश्चितता का माहौल है. प्रदेश में धारा 370 और अनुच्छेद 35 ए के भविष्य को लेकर तमाम तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं.
जम्मू कश्मीर में अमरनाथ यात्रा पर रोक और पर्यटकों को राज्य छोड़ने के आदेश के संबंध में कांग्रेस ने आरोप लगाया कि भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार राजनीतिक फायदे के लिए राज्य को 1989-90 के हालात में ले जाने की कोशिश कर रही है, जब हज़ारों कश्मीरी पंडित भाई-बहनों को बाहर जाना पड़ा था.
अमरनाथ यात्रा के बाद किश्तवाड़ ज़िले में 42 दिन तक चलने वाली मचैल माता यात्रा भी रद्द. केंद्र द्वारा घाटी में सेना की अतिरिक्त टुकड़ियों को तैनात करने के आदेश के बाद से कश्मीर में स्थिति तनावपूर्ण है. क़ानून एवं व्यवस्था की स्थिति बिगड़ने की आशंका के चलते लोग राशन और आवश्यक सामान खरीदने की दुकानों के बाहर कतारों में दिखाई दे रहे हैं.