वीडियो: ऑक्सफैम की ‘इनइक्वैलिटी किल्स’ नाम की रिपोर्ट में बताया गया है कि साल 2021 में भारत के 84 फ़ीसदी परिवारों की आय घटी है, पर इसी अवधि में देश में अरबपतियों की संख्या 102 से बढ़कर 142 हो गई है. 100 सबसे अमीर लोगों की सामूहिक संपत्ति रिकॉर्ड 57.3 लाख करोड़ रुपये के उच्च स्तर तक पहुंच गई है. इस रिपोर्ट को लेकर जेएनयू के प्रोफेसर प्रवीण झा से मुकुल सिंह चौहान की बातचीत.
रविवार को जारी ऑक्सफैम की रिपोर्ट 'इनइक्वैलिटी किल्स' में कहा गया कि 2021 में भारत के सौ सबसे अमीर लोगों की सामूहिक संपत्ति रिकॉर्ड 57.3 लाख करोड़ रुपये के उच्च स्तर तक पहुंच गई है. सबसे अमीर सौ परिवारों की संपत्ति में हुई वृद्धि का लगभग पांचवां हिस्सा केवल अडाणी घराने के हिस्से आया है.
ऑक्सफैम की हालिया 'इनइक्वैलिटी रिपोर्ट 2021 इंडियाज इनइक्वल हेल्थकेयर स्टोरी' आने के बाद इसके सीईओ ने कहा कि भारत में सार्वजनिक सेवाओं की तुलना में निजी क्षेत्र को अधिक सहयोग देने से वंचितों को नुकसान पहुंचा है. 2004 से 2017 के बीच अस्पताल में भर्ती होने के मामले में औसत ख़र्च तीन गुना बढ़ा है, जिससे ग़रीबों और ग्रामीणों की मुश्किलें बढ़ी हैं.
गैर सरकारी संगठन ऑक्सफैम की ‘द इनइक्वैलिटी वायरस’ नाम की रिपोर्ट में कहा गया कि बीते एक साल में शिक्षा का स्वरूप ऑनलाइन होने से भारत में डिजिटल विभाजन से असमानता भी बढ़ी है. भारत के 20 फ़ीसदी सबसे ग़रीब परिवारों में से सिर्फ़ तीन प्रतिशत के पास ही कंप्यूटर और सिर्फ़ नौ फ़ीसदी के पास ही इंटरनेट की पहुंच रही.
ऑक्सफैम इंडिया के हालिया सर्वे के मुताबिक देश में पुरुषों की तुलना में महिला कामगारों की भागीदारी और भी कम हो रही है. जी20 देशों में भारत सिर्फ सऊदी अरब से बेहतर स्थिति में है.
क्या अगले आम चुनाव में मोदी सरकार या महागठबंधन में से कोई नेता या दल अपने चुनावी घोषणा-पत्र में यह वादा कर सकता है कि वो देश की आम जनता को शिक्षा और स्वास्थ्य जैसी मूलभूत सुविधा देने की संवैधानिक जवाबदारी निभाने के लिए 2019 से देश के अरबपतियों और अमीरों पर उचित टैक्स लगाने का काम करेगा?