सुप्रीम कोर्ट ने बीते 11 मई को अपने एक आदेश में कहा था कि निर्वाचित दिल्ली सरकार के पास पुलिस, सार्वजनिक व्यवस्था और भूमि से संबंधित सेवाओं को छोड़कर सभी प्रशासनिक सेवाओं (ट्रांसफर-पोस्टिंग) पर अधिकार है. केंद्र ने एक अध्यादेश के ज़रिये इस फैसले को पलट दिया है. आम आदमी पार्टी इसे सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देगी.
कर्नाटक विधानसभा चुनावों के 1978 से अब तक के पिछले 45 वर्षों के आंकड़े दिखाते हैं कि महिलाओं की भागीदारी में मामूली वृद्धि हुई है और कुछ जीती भी हैं, लेकिन वृद्धि दर बहुत धीमी है. इस बार के चुनावों में 10 महिलाओं ने जीत दर्ज की है. इनमें से तीन भाजपा से, चार कांग्रेस से, दो जेडी (एस) से और एक निर्दलीय प्रत्याशी हैं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 28 मई को नए संसद भवन का उद्घाटन करने वाले हैं. इसे कार्य को राष्ट्रपति द्वारा न कराए जाने पर सवाल उठाते हुए विपक्ष ने कहा है कि भाजपा पहली आदिवासी महिला राष्ट्रपति नियुक्त करने का श्रेय लेती है, लेकिन उनके कार्यालय को उचित सम्मान नहीं देती है.
दिलचस्प है कि एक केंद्रीय मंत्री (अर्जुन राम मेघवाल), जो एलजीबीटीक्यू+ समुदाय के लिए एक बुनियादी मानवधिकार, समलैंगिक सेक्स को अपराध की श्रेणी से बाहर करने के ख़िलाफ़ थे, को ऐसे समय में क़ानून मंत्री बनाया गया है, जब सुप्रीम कोर्ट समलैंगिक विवाह को वैध बनाने संबंधी याचिकाओं पर सुनवाई कर रहा है.
विधानसभा चुनाव से तीन महीने पहले कर्नाटक की पिछली भारतीय जनता पार्टी सरकार ने अनुसूचित जाति के लिए आरक्षण 15 प्रतिशत से बढ़ाकर 17 प्रतिशत और अनुसूचित जनजाति के लिए 3 प्रतिशत से बढ़ाकर 7 प्रतिशत कर दिया था. साथ ही, अनुसूचित जाति के बीच आंतरिक आरक्षण की भी घोषणा की थी.
कभी-कभार | अशोक वाजपेयी: साहित्य उन शक्तियों में से नहीं रह गया जो मानवीय स्थिति को बदल सकती हैं- फिर भी हमें ऐसा लिखना चाहिए मानो कि हमारे लिखने से स्थिति बदल सकती है.
कर्नाटक विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की सफलता पर मीडिया को संबोधित करते हुए पार्टी नेता राहुल गांधी ने कहा कि हमने नफ़रत, ग़लत शब्दों से ये लड़ाई नहीं लड़ी. हमने मोहब्बत से दिल खोलकर ये लड़ाई लड़ी और कर्नाटक की जनता ने हमें दिखाया कि इस देश को मोहब्बत अच्छी लगती है.
पुण्यतिथि विशेष: ‘मुकम्मल आज़ादी’ और ‘इंक़लाब जिंदाबाद’ का नारा बुलंद करने वाले हसरत मोहानी के बारे में डाॅ. आंबेडकर कहते थे कि वही एकमात्र ऐसे नेता हैं जो समानता का ढोंग करने के बजाय अपने हर आचरण में उसे बरतते हैं.
कर्नाटक विधानसभा की 224 सीटों पर 10 मई को मतदान संपन्न हुआ था, जिसमें 73.19 फीसदी मतदान दर्ज किया गया था. शुरुआती रुझान कांग्रेस को 116 सीटों पर आगे दिखा रहे हैं, वहीं भाजपा 78 सीटों पर बढ़त बनाए हुए है.
बीते कुछ समय से भाजपा, आरएसएस तथा उनके द्वारा पोषित-समर्थित अन्य संगठन सनातन शब्द के प्रयोग पर ज़ोर देते नज़र आ रहे हैं. क्या वे हिंदुत्व शब्द से पीछा छुड़ाना चाहते हैं? सांप्रदायिक और दमनकारी हिंदुत्व की राजनीति के कारण भाजपा और संघ की बदरंग हुई छवि क्या सनातन शब्द से उजली हो जाएगी?
विधानसभा चुनावों से ठीक पहले कर्नाटक की भाजपा सरकार ने 4 फ़ीसदी मुस्लिम आरक्षण को ख़त्म कर दिया था, जिसके अदालत में चुनौती दी गई. इस बीच केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इस संबंध में टिप्पणी की थी. शीर्ष अदालत ने इस पर आपत्ति जताते हुए कहा कि जब मामला विचारधीन हो तो राजनीतिक बयानबाज़ी नहीं होनी चाहिए.
चौदहवीं लोकसभा में सर्वाधिक 19 संसद सदस्यों को अयोग्यता का सामना करना पड़ा था. 10 सांसदों को पैसा लेकर संसद में सवाल करने के अशोभनीय आचरण के चलते अयोग्य क़रार दिया गया था, जबकि 9 सांसदों को विश्वास मत के दौरान क्रॉस-वोटिंग करने के लिए बाहर का रास्ता दिखाया गया था.
एक वेबिनार में पूर्व मुख्य चुनाव आयुक्त नसीम ज़ैदी ने कहा कि मतदाता बड़ी संख्या में वोट के लिए बाहर निकलते हैं, लेकिन उन्हें अच्छी पृष्ठभूमि वाले उम्मीदवार नहीं मिलते, इसलिए वोट नहीं देने के बजाय वे नोटा पर शिफ्ट हो गए. आने वाले चुनाव के बाद के विश्लेषण का यह विषय हो सकता है.
जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फ़ारूक़ अब्दुल्ला ने कहा कि जब भाजपा नेता सार्वजनिक रूप से घोषणा करते हैं कि वे चुनाव में 50 सीटें जीतेंगे, तो उन्हें चुनाव कराने से कौन रोक रहा है. हमारे पास उपराज्यपाल तो हैं, पर वे लोगों की समस्याओं का समाधान नहीं कर सकते.
हाल ही में कल्याणकारी नीतियों की आड़ में नकदी बांटने की प्रथा आम हो गई है, ख़ासकर चुनाव के समय. निष्पक्ष चुनाव कराने में ‘फ्रीबीज़’ बांटने को एक बड़ी चुनौती के रूप में सूचीबद्ध किया गया है. अगर इस मुद्दे पर काबू नहीं पाया गया तो इससे राज्यों पर वित्तीय बोझ पड़ेगा.