महाराष्ट्र के एक प्रोफेसर के ख़िलाफ़ जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने की आलोचना करने और पाकिस्तान को स्वतंत्रता दिवस की बधाई देने के चलते एफआईआर दर्ज की गई थी. सुप्रीम कोर्ट ने इसे रद्द करते हुए कहा कि भारत के प्रत्येक नागरिक को अनुच्छेद 370 को निरस्त करने और जम्मू कश्मीर की स्थिति में किए गए बदलाव की आलोचना करने का हक़ है.
मध्य प्रदेश के अलीराजपुर में एक सरकारी कर्मचारी के ख़िलाफ़ एक वॉट्सऐप ग्रुप में कथित आपत्तिजनक संदेश फॉरवर्ड करने के लिए सिविल सेवा (आचरण) नियम, 1965 के नियम 3 के तहत आरोप पत्र दायर किया गया था. अब हाईकोर्ट ने कहा है कि वॉट्सऐप ग्रुप में संदेश फॉरवर्ड करना नियम 3 के किसी भी प्रावधान के दायरे में नहीं आता.
द वायर बुलेटिन: आज की ज़रूरी ख़बरों का अपडेट.
बीते 29 अक्टूबर को केरल के कोच्चि ज़िले के कलामासेरी में एक ईसाई प्रार्थना सभा में हुए विस्फोट में मरने वालों की संख्या बढ़कर चार हो गई है. इस घटना को लेकर केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर और एक समाचार चैनल तथा इसकी संपादक के ख़िलाफ़ भी केस दर्ज किया गया है.
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने आगरा के एक व्यक्ति मोहम्मद इमरान क़ाज़ी के ख़िलाफ़ आईटी अधिनियम की धारा 67 और आईपीसी की अन्य धाराओं के तहत दर्ज मामला रद्द करते हुए यह टिप्पणी की. यह केस इमरान द्वारा एक ग़ैर-क़ानूनी जमावड़े के लिए की गई अन्य व्यक्ति की पोस्ट लाइक करने पर दर्ज किया गया था.
एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, सरकार वॉट्सऐप पर फैलाए जा रहे विभिन्न नेताओं के कई डीपफेक वीडियो और ग़लत जानकारी का हवाला देते हुए आईटी नियम, 2021 के तहत मैसेजिंग कंपनी को एक आदेश भेजने की प्रक्रिया में है, जहां वॉट्सऐप को किसी मैसेज को लेकर इसे सबसे पहले भेजने वाले (originator) का विवरण देना होगा.
विपक्षी दलों के समूह ‘इंडिया गठबंधन’ ने द वॉशिंगटन पोस्ट की एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए फेसबुक के मुख्य कार्यकारी मार्क जुकरबर्ग और गूगल के सीईओ सुंदर पिचई को पत्र लिखा है. पत्र में कहा गया है कि मेटा/फेसबुक भारत में सामाजिक वैमनस्य को बढ़ावा देने और सांप्रदायिक नफ़रत को भड़काने का दोषी है.
द वायर बुलेटिन: आज की ज़रूरी ख़बरों का अपडेट.
साक्षात्कार: सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म सिग्नल की प्रेसिडेंट मेरेडिथ ह्विटेकर का मानना है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को विनियमित किया जाना चाहिए. साथ ही वे मानती हैं कि यूज़र्स की निजता के साथ कोई समझौता नहीं किया जाना चाहिए.
कर्नाटक की मल्लेश्वरम विधानसभा सीट के मौजूदा भाजपा विधायक और कैबिनेट मंत्री सीएन अश्वथ नारायण ने मतदाताओं को वॉट्सऐप पर संदेश भेजे हैं. इन संदेशों में मतदाताओं के व्यक्तिगत मतदाता पहचान पत्रों के अंश शामिल हैं, जिससे विवाद की स्थिति बन गई है. कुछ लोगों ने सवाल उठाया है कि मंत्री ने मतदाताओं के मोबाइल नंबर तक कैसे पहुंच बनाई.
मणिपुर सरकार ने अपने कर्मचारियों को उन सोशल मीडिया समूहों से बाहर निकलने का निर्देश दिया है, जो ‘अलगाववादी’, ‘राष्ट्र-विरोधी’ और ‘सांप्रदायिक’ एजेंडे के प्रचार में लिप्त हैं. विशेष गृह सचिव द्वारा जारी एक पत्र में कहा कि राज्य सरकार के कर्मचारियों को 12 अगस्त शाम छह बजे तक वॉट्सऐप और फेसबुक पर ऐसे समूहों से बाहर निकलना होगा.
फेसबुक के स्वामित्व वाले मैसेजिंग ऐप वॉट्सऐप द्वारा अप्रैल 2022 के लिए दी गई मासिक रिपोर्ट में कहा गया है कि हम विशेष रूप से रोकथाम पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, क्योंकि हमारा मानना है कि हानिकारक गतिविधियों के बाद क़दम उठाने से बेहतर है कि उन्हें होने ही न दिया जाए.
मामला नीमच का है. पुलिस ने बताया कि केंद्र सरकार की छात्रवृत्ति योजना के तहत पढ़ने वाले एक नाबालिग कश्मीरी छात्र द्वारा सोशल मीडिया पर साझा किए गए वीडियो में कथित तौर पर 2019 के पुलवामा आतंकी हमले को बाबरी विध्वंस और कुछ अन्य घटनाओं का बदला लेने का कृत्य बताया गया था.
लोक प्रशासन विभाग के एक कर्मचारी ए. मणिकुट्टन ने वॉट्सऐप ग्रुप में मुख्यमंत्री पिनराई विजयन और माकपा के वरिष्ठ नेता एमवी जयराजन तस्वीरें पोस्ट कर 'गुंडे' लिखा था. कुछ अन्य कर्मचारियों की शिकायत के प्रधान सचिव ने आंतरिक जांच लंबित रहने तक मणिकुट्टन को निलंबित करने का आदेश जारी किया है.
उच्चतम न्यायालय द्वारा नियुक्त तकनीकी समिति ने एक सार्वजनिक नोटिस जारी कर नागरिकों से यह भी बताने को कहा है कि उन्हें ऐसा क्यों लगता है कि उनके मोबाइल फोन में इज़रायल के एनएसओ ग्रुप द्वारा विकसित पेगासस स्पायवेयर से सेंध लगाई गई होगी. जांच के लिए उन्हें अपना फोन दिल्ली में जमा करना होगा.