कोविड-19: ओडिशा के एक क्वारंटीन सेंटर में महिला ने फांसी लगाई

मामला बालासोर ज़िले का है. हैदराबाद के एक निजी फर्म में काम करने वाली 50 वर्षीय महिला 20 जून को लौटी थीं. उन्हें अन्य लोगों के साथ जयरामपुर के क्वारंटीन सेंटर में रखा गया था.

(प्रतीकात्मक फोटो: रॉयटर्स)

मामला बालासोर ज़िले का है. हैदराबाद के एक निजी फर्म में काम करने वाली 50 वर्षीय महिला 20 जून को लौटी थीं. उन्हें अन्य लोगों के साथ जयरामपुर के क्वारंटीन सेंटर में रखा गया था.

(प्रतीकात्मक फोटो: रॉयटर्स)
(प्रतीकात्मक फोटो: रॉयटर्स)

बालासोर: ओडिशा के बालासोर जिले के क्वारंटीन सेंटर में रह रही 50 वर्षीय एक प्रवासी महिला ने मंगलवार को पेड़ से फांसी लगाकर अपनी जान दे दी. एक पुलिस अधिकारी ने यह जानकारी दी.

उन्होंने बताया कि हैदराबाद के एक निजी फर्म में काम करने वाली महिला 20 जून को शहर में लौटी थीं, जिसके बाद उन्हें क्वारंटीन में रखा गया था.

वह बालासोर के जयरामपुर गांव की रहने वाली थी.

पुलिस अधिकारी ने कहा कि क्वारंटीन सेंटर में रह रहे लोगों ने उनका शव जयरामपुर हाई स्कूल के पीछे एक पेड़ से लटका हुआ पाया.

उन्होंने स्थानीय अधिकारियों और पुलिस को सूचित किया.

पुलिस अधिकारी ने कहा कि पुलिस टीम ने तुरंत उसे स्थानीय अस्पताल भेजा जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया. उन्होंने कहा कि पुलिस मामले की जांच कर रही है और उसकी मौत के कारणों का पता लगाने की कोशिश कर रही है.

बता दें कि इससे पहले मई महीने में कोरोना वायरस संक्रमण होने के डर से राज्य के मयूरभंज जिले में क्वारंटीन सेंटर में एक प्रवासी मजदूर ने आत्महत्या कर ली थी. वह आंध्र प्रदेश से लौटे थे.

इसके अलावा उत्तर प्रदेश में भी कई लोगों के क्वारंटीन सेंटरों में आत्महत्या करने की खबरें आ चुकी हैंं.

बीते 28 मई को बांदा जिले में क्वारंटीन सेंटर से भागकर एक प्रवासी मजदूर ने आत्महत्या की थी. वह गुजरात के सूरत से लॉकडाउन के दौरान गांव लौटे थे.

उससे पहले 22 मई को बांदा जिले के ही कमासिन थाना क्षेत्र के मुसीवां गांव के सुनील (19) ने होम-क्वारंटीन में फांसी लगा ली थी. वह कुछ रोज पहले ही मुंबई से लौटे थे.

पुलिस ने बताया था कि वह मुंबई की एक स्टील फैक्ट्री में काम करते थे और लॉकडाउन की वजह से फैक्ट्री बंद हो जाने पर घर लौट आए थे.

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)

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