गुजरात: नरेंद्र मोदी के नाम हुआ मोटेरा स्टेडियम, विपक्ष ने बताया सरदार पटेल का अपमान

गुजरात स्थित दुनिया के सबसे बड़े और अत्याधिक मोटेरा क्रिकेट स्टेडियम का नाम सरदार पटेल के बजाय नरेंद्र मोदी स्टेडियम रख दिया गया है. इसमें एक लाख 32 हज़ार दर्शक बैठ सकते हैं. करीब 63 एकड़ से अधिक क्षेत्र में फैले इस स्टेडियम पर 800 करोड़ रुपये ख़र्च किए गए हैं.

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नरेंद्र मोदी स्टेडियम. फोटो: पीटीआई)

गुजरात स्थित दुनिया के सबसे बड़े और अत्याधिक मोटेरा क्रिकेट स्टेडियम का नाम सरदार पटेल के बजाय नरेंद्र मोदी स्टेडियम रख दिया गया है. इसमें एक लाख 32 हज़ार दर्शक बैठ सकते हैं. करीब 63 एकड़ से अधिक क्षेत्र में फैले इस स्टेडियम पर 800 करोड़ रुपये ख़र्च किए गए हैं.

नरेंद्र मोदी स्टेडियम. फोटो: पीटीआई)
नरेंद्र मोदी स्टेडियम. फोटो: पीटीआई)

अहमदाबाद: राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने बुधवार को दुनिया के सबसे बड़े और अत्याधुनिक क्रिकेट स्टेडियम का उद्घाटन किया, जिसका नाम अब सरदार पटेल स्टेडियम की बजाय देश के प्रधानमंत्री के नाम पर नरेंद्र मोदी स्टेडियम होगा, जिन्होंने गुजरात के मुख्यमंत्री रहते इसकी संकल्पना की थी.

स्टेडियम के नामकरण की बात इसके उद्घाटन तक गुप्त रखी गई थी.

इस स्टेडियम में एक लाख 32 हजार दर्शक बैठ सकते हैं. यहां भारत और इंग्लैंड के बीच बुधवार से दिन रात का तीसरा टेस्ट मैच खेला जा रहा है और चार मार्च से चौथा टेस्ट खेला जाना है.

करीब 63 एकड़ से अधिक क्षेत्र में फैले नरेंद्र मोदी स्टेडियम पर 800 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं. इससे पहले मेलबर्न क्रिकेट ग्राउंड सबसे बड़ा स्टेडियम था, जिसकी दर्शक क्षमता 90,000 है.

राष्ट्रपति ने उद्घाटन के बाद अपने संबोधन में कहा, ‘इस स्टेडियम की परिकल्पना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की थी जब वह गुजरात के मुख्यमंत्री थे. वह उस समय गुजरात क्रिकेट संघ के अध्यक्ष थे.’ उन्होंने कहा, ‘यह स्टेडियम पर्यावरण के अनुकूल विकास का एक उदाहरण है.’

कोविंद ने कहा, ‘यह भारत की शक्ति और आकांक्षाओं का प्रतिनिधित्व करता है. भारत को क्रिकेट का गढ़ कहा जाता है और इसलिए दुनिया का सबसे बड़ा स्टेडियम हमारे देश में होना ही चाहिए. इससे भारत को नई पहचान मिलेगी.’

राष्ट्रपति ने गृहमंत्री अमित शाह और खेलमंत्री किरेन रीजीजू समेत कई विशिष्ट अतिथियों की मौजूदगी में स्टेडियम का उद्घाटन किया.

शाह ने उद्घाटन के बाद कहा, ‘हमने इसका नामकरण देश के प्रधानमंत्री के नाम पर करने का फैसला किया है. यह मोदीजी का ड्रीम प्रोजेक्ट था.’

रिपोर्ट के अनुसार, गुजरात क्रिकेट एकेडमी कोई सरकारी संगठन नहीं, बल्कि एक ट्रस्ट है और अमित शाह इसके मौजूदा अध्यक्ष हैं. इससे पहले मोदी इसके अध्यक्ष हैं.

देश में कई स्टेडियम और अन्य सार्वजनिक जगहें प्रधानमंत्रियों के नाम पर हैं लेकिन कार्यकाल में रहते हुए उन पर उन नेताओं के नाम नहीं रखे गए.

भारत के राजनीतिक इतिहास में संभवतया यह पहला अवसर है जब भारत के सर्वोच्च संवैधानिक प्रमुख राष्ट्रपति ने सरकार द्वारा दी गई जमीन पर बनी सुविधा को किसी मौजूदा प्रधानमंत्री के नाम पर किया है.

राष्ट्रपति ने मौके पर स्टेडियम में खेल परिसर के निर्माण कार्य की शुरुआत के समारोह में भी भाग लिया. इसका नाम सरदार पटेल खेल परिसर होगा और इसमें फुटबॉल, हॉकी, बास्केटबॉल, कबड्डी, मुक्केबाजी जैसे खेलों की सुविधाएं होंगी.

करीब 215 एकड़ की इस महत्वाकांक्षी परियोजना के तहत 20 स्टेडियम बनाए जाएंगे जिसमें खिलाड़ियों और कोचों के लिये रिहायशी सुविधा भी होगी.

शाह ने कहा, ‘ये तीन परिसर 233 एकड़ में फैले होंगे जो राष्ट्रमंडल खेल, एशियाई खेल और ओलंपिक तक की मेजबानी के लिये काफी है. ये छह महीने में तैयार हो जाएंगे.’

प्रेस सूचना ब्यूरो द्वारा जारी सूचना में कहा गया, ‘यह ओलंपिक आकार के 32 फुटबॉल स्टेडियमों के बराबर का है.’

इस मैदान को 2015 में नवीनीकरण के लिए बंद कर दिया गया था. यह क्रिकेट के इतिहास के कई गौरवशाली पलों का साक्षी रहा है.

इसमें सुनील गावस्कर का 1987 में 10,000 टेस्ट रन पूरे करना और कपिल देव का 432 टेस्ट विकेट लेकर 1994 में सर रिचर्ड हैडली का रिकॉर्ड तोड़ते हुए सबसे ज्यादा टेस्ट विकेट लेने वाला गेंदबाज बनना शामिल है.

भाजपा कभी ‘गेंम चेंजर’ नहीं रही, वह हमेशा ‘नेम चेंजर’ रही है: कांग्रेस

मोटेरा स्टेडियम का नाम सरदार पटेल स्टेडियम की बजाय नरेंद्र मोदी स्टेडियम किए जाने की बात सामने आते ही उसे लेकर विपक्षी पार्टियों ने जहां तीखी प्रतिक्रिया दी है तो वहीं सोशल मीडिया पर भी तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं सामने आने लगीं. कांग्रेस और कुछ अन्य विपक्षी दलों के नेताओं ने इसे सरदार पटेल का अपमान बताया.

कांग्रेस ने बुधवार को कहा कि अहमदाबाद स्थित गुजरात स्टेडियम की मरम्मत के बाद उसके नाम से सरदार पटेल का नाम हटाकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम पर रखना ‘प्रत्येक भारतीय का अपमान है.’ विपक्षी पार्टी ने कहा कि भाजपा कभी ‘गेंम चेंजर (बदलाव लाने वाली)’ नहीं रही है वह हमेशा ‘नेम चेंजर (नाम बदलने वाली)’ रही है.

इस पर चुटकी लेते हुए कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक बार फिर ‘हम दो, हमारे दो’ का जिक्र करते हुए दावा किया कि सच्चाई बाहर आ गई है कि स्टेडियम को प्रधानमंत्री का नाम दिया गया है और दो अन्य को कॉरपारेट हाउसों का नाम दिया गया है और क्रिकेट प्रशासन में अमित शाह का बेटा शामिल रहा है.

गांधी ने ट्वीट किया, ‘सच्चाई कैसे सामने आती है, बहुत खूबसूरत है. नरेंद्र मोदी स्टेडियम… अडानी और अंबानी एंड. जय शाह की अध्यक्षता.’

कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट किया है, ‘संदेह से परे साबित हो गया है. भाजपा कभी ‘गेम चेंजर’ नहीं हो सकती, भाजपा सिर्फ ‘नेम चेंजर’ हो सकती है.’

मीडिया से बातचीत में कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने कहा कि आज अगर कोई एक व्यक्ति बहुत दुखी होगा तो वह हैं पूर्व उप प्रधानमंत्री लाल कृष्ण आडवाणी. भाजपा पर चुटकी लेते हुए खेड़ा ने कहा कि वह सोच रहे होंगे उन्होंने उपप्रधानमंत्री रहते हुए कुछ परियोजनाओं, कुछ स्टेडियम और राजमार्गों के नाम अपने नाम पर क्यों नहीं रख लिए थे.

कांग्रेस नेता शशि थरूर ने ट्वीट किया, ‘शायद उन्हें लगा होगा कि यह स्टेडियम एक गृह मंत्री के नाम पर था, जिसने उनके पितृ संस्था पर प्रतिबंध लगाया था! या हो सकता है कि ट्रंप जैसे किसी राष्ट्राध्यक्ष का दौरा सुनिश्चित करने के लिए अग्रिम बुकिंग हो? या फिर क्या यह विरासत तैयार करने की शुरुआत है?’

कांग्रेस सांसद राजीव सातव ने कहा, ‘मोटेरा क्रिकेट स्टेडियम का नाम सरदार पटेल से नरेंद्र मोदी के नाम पर करना शर्म की बात है. यह दर्शाता है कि हमारे प्रधानमंत्री कितने आत्ममुग्ध हो गए हैं. यह अपमानजनक है और निरंकुश तानाशाही का स्पष्ट संकेत है.’

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने स्टेडियम के बारे में सीधा जिक्र न करते हुए सरदार पटेल के एक कथन को साझा किया, ‘इस मिट्टी में कुछ अनूठा है, जहां कई बाधाओं के बावजूद हमेशा महान आत्माओं का निवास रहा है.’

महाराष्ट्र सरकार में मंत्री एवं राकांपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता नवाब मलिक ने बुधवार को आरोप लगाया कि भाजपा ‘सभी हदों को पार करते’ हुए अब अस्पतालों और स्टेडियमों तक के नाम बदल रही है.

उन्होंने दावा किया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस मुद्दे पर अभी तक कोई टिप्पणी नहीं की है, जो दर्शाता है कि अहमदाबाद में स्टेडियम का नाम बदले जाने को उनकी मंजूरी प्राप्त थी.

मलिक ने कहा, ‘यह खुशी की बात है कि दुनिया का सबसे बड़ा स्टेडियम भारत में बना है.’

उन्होंने आरोप लगाया, ‘नाम बदलने की अपनी होड़ में भाजपा सारी हदें पार कर रही है. इससे पहले उन्होंने शहरों के नाम बदले और अब तो भारत रत्न से सम्मानित हस्तियों के नाम वाले अस्पतालों और स्टेडियम के नाम तक बदले जा रहे हैं.’

सुप्रीम कोर्ट के वकील प्रशांत भूषण ने कहा, ‘सरदार पटेल स्टेडियम का नाम बदलकर नरेंद्र मोदी स्टेडियम कर दिया गया है. आश्चर्य है कि क्या मोदीजी अंबानी छोर से बल्लेबाजी करना पसंद करते हैं या अडानी एंड से?’

पिछले कई दिनों से मोदी रोजगार दो का हैशटैग टॉप ट्रेंड कराने वाले ट्विटर हैंडलों ने रोजगार पर ध्यान देने के बजाय भव्य स्टेडियम बनाने के लिए आलोचना की है.

ऑल इंडिया रेलवे एक्ट अप्रेंटिस एसोसिएशन ने ट्वीट कर कहा, ‘स्टेडियम का नाम बदलने से ज्यादा जरूरी नौकरी है.’

सिर्फ मोटेरा स्टेडियम का नामकरण मोदी पर हुआ, परिसर पटेल के ही नाम पर रहेगा: सरकार

गुजरात में स्टेडियम का नाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम पर रखे जाने का लेकर उठे विवाद के मद्देनजर केंद्र सरकार ने बुधवार को स्पष्ट किया कि सिर्फ मोटेरा स्टेडियम का नाम बदला गया है, जबकि पूरे खेल परिसर का नाम सरदार पटेल पर ही रहेगा.

आरोपों के बारे में पूछे जाने पर सूचना और प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि सिर्फ मोटेरा स्टेडियम का नाम बदला गया है, जबकि पूरा खेल परिसर सरदार वल्लभ भाई पटेल के ही नाम पर रहेगा.

केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कांग्रेस नेताओं को आड़े हाथों लेते हुए सवाल किया कि क्या कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी या उनके पुत्र राहुल गांधी ने भी गुजरात के केवड़िया स्थित सरदार पटेल की विश्व की सबसे ऊंची मूर्ति की प्रशंसा की?

प्रसाद ने कहा, ‘मैं बहुत जिम्मेदारी के साथ कहना चाहता हूं एक पर्यटन स्थल जिसकी सराहना पूरा विश्व कर रहा है वहां अभी तक दोनों कांग्रेस नेता नहीं गए और न ही इसकी प्रशंसा की. इसके बाद क्या कहना रह जाता हैं?’

खेल मंत्री किरेन रीजीजू ने ट्वीट करके कहा, ‘पूरे खेल परिसर का नाम सरदार पटेल एनक्लेव है. केवल क्रिकेट स्टेडियम का नाम नरेंद्र मोदी स्टेडियम किया गया है. यह स्टेडियम भी इस परिसर के अंदर है.’

उन्होंने विपक्ष के नेता राहुल गांधी द्वारा आलोचना के संदर्भ में कहा, ‘विडंबना देखिए कि जिस ‘परिवार’ ने कभी सरदार पटेल का, यहां तक कि उनके निधन के बाद भी सम्मान नहीं किया, वही अब हो हल्ला मचा रहा है.’

रीजीजू ने ट्विटर पर कहा, ” 2007 में सोनिया गांधी अरुणाचल प्रदेश आई थीं और अरुणाचल विश्वविद्यालय का नाम बदलकर राजीव गांधी विश्वविद्यालय कर दिया. राजीव गांधी पॉलीटेक्निक की नींव रखी, जबकि इंदिरा गांधी पार्क, राजीव गांधी स्टेडियम, नेहरू म्यूजियम, जवाहर लाल नेहरू कॉलेज है और इसकी सूची अंतहीन है.’

(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)

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