किसानों को तो मरना ही था, पुलिस न मारती तो आत्महत्या कर लेते

किसान को मारना सबसे आसान है. बल्कि मैं तो कहता हूं कि किसान को मारना दूसरी क्लास में ही सबको सिखा देना चाहिए. उसे न भी मारो तो वह ख़ुद ही मर जाता है. यह इतना फ़नी है कि हमें इस पर चुटकुले बनाने चाहिए और वॉट्सऐप पर फ़ॉरवर्ड करने चाहिए.

अगर हम किसानों के साथ नहीं खड़े हैं तो हमारी इंसानियत शक के दायरे में है

ये लोग नारा लगाते हैं जय जवान जय किसान! ज़्यादातर जवान किसान के ही बच्चे हैं. किसानों पर गोली चलाकर, आप सिर्फ़ सैनिकों के सहारे अपनी देशभक्ति प्रमाणित नहीं कर सकते.

भारत कृषिप्रधान देश या किसानों की क़ब्रगाह?

नरेंद्र मोदी चुनाव प्रचार में कहते थे कि देश के संसाधनों पर पहला हक़ ग़रीबों और किसानों का है, लेकिन उनके कार्यकाल में किसान आत्महत्या की दर बढ़ गई.

पुणे: किसान ने की आत्महत्या, सुसाइड नोट में लिखा- ‘मांगें पूरी होने तक अंत्येष्टि मत करना’

महाराष्ट्र के सोलापुर ज़िले की घटना, सुसाइड नोट में लिखा, जब तक मुख्यमंत्री उसके घर नहीं आते और उसकी मांगें पूरी नहीं करते, तब तक उसका अंतिम संस्कार नहीं किया जाना चाहिए.'

सीएम पलानीस्वामी के आश्वासन के बाद किसानों का आंदोलन 25 मई तक स्थगित

तमिलनाडु के कुछ किसान जंतर मंतर पर पिछले 40 दिनों से प्रदर्शन कर रहे थे. उनका कहना है कि यदि हमारी मांगें मानी नहीं गईं तो 25 मई से फिर आंदोलन करेंगे.

किसान आत्महत्या के मुद्दे से निपटने की योजना बताए केंद्र: सुप्रीम कोर्ट

उच्चतम न्यायालय ने केंद्र सरकार से किसानों की आत्महत्या के गंभीर मुद्दे से निपटने के लिए राज्यों द्वारा उठाए जाने वाले प्रस्तावित कदमों की जानकारी देने के लिए चार हफ्ते का समय दिया है.

जेएनयू शोधार्थी की मौत के मामले में आत्महत्या के लिए उकसाने का केस दर्ज

जेएनयू के शोधार्थी मुथुकृष्णनन जीवानंदम उर्फ रजनी कृष की मौत के मामले में पुलिस ने आत्महत्या के लिए उकसाने का केस दर्ज कर लिया है.

प्रिय ईश्वर! यदि मुझे दूसरा जन्म मिले तो चिड़िया बना देना, मैं पूरी दुनिया देखना चाहता हूं: रजनी कृष

जेएनयू के छात्र रजनी कृष ने पिछले कुछ वर्षों में प्रताड़ित किए गए ‘वंचितों की लिस्ट’ पोस्ट करते हुए लिखा था, ‘यह लिस्ट 2017 में बढ़ सकती है.’ दुर्भाग्य से रजनी कृष का नाम भी इसमें जुड़ गया.

मुआवज़ा समाधान नहीं, किसानों की आत्महत्या रोके सरकार: सुप्रीम कोर्ट

गुजरात के किसानों की दुर्दशा से जुड़े एक मामले की सुनवाई करते हुए शीर्ष अदालत ने कहा, यह आश्चर्यजनक है कि आत्महत्या के पीछे के कारणों पर ग़ौर करने के लिए कोई कार्रवाई नहीं की गई है.

मध्य प्रदेश में साढ़े तीन माह में 287 किसानों और कृषि मजदूरों ने की आत्महत्या

मध्य प्रदेश सरकार ने विधानसभा में बताया कि प्रदेश में 16 नवंबर, 2016 से अब तक 1761 लोगों ने आत्महत्या की है. इनमें 287 किसान और कृषि मजदूर के अलावा 160 विद्यार्थी भी शामिल हैं.

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