मानव संसाधन एवं विकास मंत्रालय द्वारा 'इंस्टिट्यूशन ऑफ एमिनेंस' का दर्जा पाने वाले आईआईटी दिल्ली और मुंबई, आईआईएससी और बिट्स-पिलानी जैसे संस्थानों के साथ रिलायंस फाउंडेशन के इस कागज़ी इंस्टिट्यूट को जगह मिली है.
विश्वविद्यालयों को 31 जुलाई तक यूजीसी को बताना है कि बीते एक साल में उन्हें यौन उत्पीड़न की कितनी शिकायतें मिलीं और इन पर क्या कदम उठाया गया.
ज्ञान की जब भी चर्चा होती है तो वो बिहार के ऐतिहासिक नालंदा और विक्रमशिला विश्वविद्यालय का ज़िक्र किए बिना पूरी नहीं होती, लेकिन उसी बिहार में आज शिक्षा व्यवस्था का हाल ये है कि आधा दर्जन विश्वविद्यालयों में विभिन्न सत्रों की परीक्षाएं कई सालों से लटकी हुई हैं.
जिस प्रकार कृषि क्षेत्र में ऋण से बढ़ते तनाव ने किसान आत्महत्या की समस्या पैदा की, स्कूल शिक्षा में परीक्षाओं और मेरिट के दबाव ने स्कूली विद्यार्थियों में आत्महत्याओं को जन्म दिया, तनाव निर्माण की उसी कड़ी में सरकार ने कॉलेज और विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों और शिक्षकों को झोंकने की तैयारी कर ली है.
दो हज़ार करोड़ के फंड के साथ पचास करोड़ लोगों को बीमा देने की करामात भारत में ही हो सकती है. यहां के लोग ठगे जाने में माहिर हैं. दो बजट पहले एक लाख बीमा देने का ऐलान हुआ था, आज तक उसका पता नहीं है.
नीति आयोग से जुड़ी संस्था का कहना है, 'रोज़गार की समस्या बड़े पैमाने पर प्रौद्योगिकी के उपयोग और उपयुक्त कौशल की कमी की वजह से है.'
जन गण मन की बात की 61वीं कड़ी में विनोद दुआ बाबरी विध्वंस मामला और देश की उच्च शिक्षा पर चर्चा कर रहे हैं.
दिल्ली की आधिकारिक भाषा अंग्रेज़ी, हिंदी, पंजाबी और उर्दू हैं पर दिल्ली के कई उच्च शिक्षण संस्थानों के पाठ्यक्रम सिर्फ अंग्रेज़ी में हैं और इम्तिहान भी अंग्रेज़ी में ही देना होता है. दिल्ली विश्वविद्यालय और आंबेडकर विश्वविद्यालय के विद्यार्थी बता रहे हैं कि उन्हें अंग्रेज़ी में हो रही इस पढ़ाई से किस तरह की मुश्किलें आ रही हैं.