केंद्रीय मंत्रिमंडल ने शुक्रवार को 16वीं लोकसभा भंग करने की सिफ़ारिश की थी. इसके साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्रिमंडल ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को सामूहिक इस्तीफ़ा सौंप दिया था.
इस लोकसभा चुनाव में चुनाव आयोग में मतदाताओं का भरोसा कम हुआ है. ऐसा होना किसी लोकतंत्र के लिए अच्छी बात नहीं है.
नरेंद्र मोदी के चुनाव प्रचार के लिए प्रधानमंत्री कार्यालय पर नीति आयोग के इस्तेमाल का आरोप लगाते हुए बीते एक मई को कांग्रेस पार्टी ने चुनाव आयोग में शिकायत दर्ज कराई थी.