स्वीडन के वी-डेम इंस्टिट्यूट की साल 2020 की डेमोक्रेसी रिपोर्ट में कहा गया है कि नरेंद्र मोदी सरकार में मीडिया, नागरिक समाज और विपक्ष के लिए कम होती जगह के कारण भारत एक लोकतंत्र का दर्जा खोने की कगार पर है.
शिवसेना के मुखपत्र सामना में प्रकाशित संपादकीय में कहा गया है कि अर्थव्यवस्था में नरमी से असंतोष तथा अस्थिरता बढ़ रही है और यह देश में बने हालात से ज़ाहिर है.
द इकोनॉमिस्ट की नई रिपोर्ट के मुताबिक भारत 10 स्थान गिरकर अभी 51वें पायदान पर आ गया है. नार्वे इस सूची में शीर्ष पर है, जबकि उत्तर कोरिया 167वें स्थान के साथ सबसे नीचे है.