यूपी: मुज़फ़्फ़रनगर की खाप पंचायत ने महिलाओं के जींस और पुरुषों के शॉर्ट्स पहनने पर पाबंदी लगाई

राजपूत समुदाय की खाप पंचायत ने कहा कि जींस आदि परिधान पश्चिमी संस्कृति का हिस्सा हैं और महिलाओं को साड़ी, घाघरा तथा सलवार-कमीज जैसे पांरपरिक भारतीय वस्त्र पहनना चाहिए. पंचायत ने चेतावनी भी दी है कि जो भी इसका उल्लंघन करते पाए जाएंगे, उन्हें दंडित और बहिष्कृत किया जा सकता है.

बलात्कार हर देश में होते हैं पर सिर्फ हमारे यहां पीड़िता को इसका दोष दिया जाता है: निर्मला बनर्जी

साक्षात्कार: महिलाओं के ख़िलाफ़ बढ़ते अपराधों, सीमित किए जा रहे अधिकारों के बीच उनसे संबंधित मुद्दों पर बात करने की ज़रूरत और बढ़ गई है. देश में महिलाओं की वर्तमान परिस्थितियों को लेकर बीते पांच दशकों से महिला आंदोलनों का हिस्सा रहीं वरिष्ठ अर्थशास्त्री निर्मला बनर्जी से सृष्टि श्रीवास्तव की बातचीत.

अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस: दिन पर सवाल उठाता समाज साल पर कितने सवाल उठाएगा

वीडियो: हाल ही में आई किताब ‘द एंगर ऑफ सेंटली मैन’ गुड़गांव में रह रहे एक परिवार के माध्यम से भारतीय पुरुषत्व की पड़ताल करती है. किताब की लेखिका अनुभा यादव से दामिनी यादव की बातचीत.

असमानता दूर करने में सरकारों की विफलता की कीमत चुका रही है दुनिया: ऑक्सफैम

विश्व आर्थिक मंच की दावोस एजेंडा शिखर बैठक में ऑक्सफैम इंटरनेशनल की कार्यकारी निदेशक गैब्रिएला बुचर ने कहा कि महामारी की आर्थिक मार से उबरने में अरबों लोगों को एक दशक से अधिक का समय लग सकता है, जबकि मार्च 2020 के बाद से सबसे शीर्ष पर सिर्फ़ 10 अरबपतियों का धन आसमान छू लिया है.

कामकाजी महिलाओं की निगरानी वाला प्रस्ताव सुरक्षा की आड़ में नियंत्रण की कोशिश: कार्यकर्ता

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बीते दिनों घोषणा की थी कि सरकार काम के लिए बाहर जाने वाली महिलाओं के लिए पंजीकरण सुविधा शुरू करेगी, जहां उन्हें स्थानीय थाने में रजिस्ट्रेशन करवाना होगा और सुरक्षा के लिए उन्हें ट्रैक किया जाएगा. महिला अधिकार कार्यकर्ताओं ने इसकी आलोचना की है.

विवाहित बेटी भी अनुकंपा नियुक्ति की हक़दार, राज्य की नीति असंवैधानिक: मध्य प्रदेश हाईकोर्ट

मध्य प्रदेश के सतना ज़िले की एक महिला द्वारा अनुकंपा नियुक्ति के आवेदन को राज्य की बिजली कंपनी ने यह कहते हुए ख़ारिज कर दिया था कि सरकार की नीति के तहत अनुकंपा नियुक्ति का लाभ सिर्फ पुत्र, अविवाहित पुत्री, विधवा पुत्री या तलाक़शुदा पुत्री को ही दिया जा सकता है.

आज़ाद औरत का चेहरा अमृता प्रीतम

वीडियो: एक आज़ाद औरत का चेहरा बीते कल से आज तक कितना बदल पाया है, इसी मुद्दे पर अमृता प्रीतम के हवाले से वरिष्ठ पत्रकार प्रियदर्शन के साथ दामिनी यादव की एक ख़ास बातचीत.

तीन तलाक़ क़ानून पर सवाल उठाने वाले कभी मुस्लिम महिलाओं की तकलीफ को नहीं समझ पाए

सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद तीन तलाक़ हो रहे थे, इसलिए जब तक समाज और ग़लत काम कर रहे मर्दों के दिमाग में क़ानून का डर नहीं आएगा, तब तक तीन तलाक़ के ख़िलाफ़ चल रही मुहिम का कोई नतीजा नहीं निकलेगा.

क्या हैं अंतरराष्ट्रीय श्रमजीवी महिला दिवस के सही मायने?

वीडियो: अंतरराष्ट्रीय श्रमजीवी महिला दिवस के अवसर पर अलग-अलग क्षेत्रों में सक्रिय महिलाएं बता रहीं हैं कि उनके लिए इस दिन का क्या मतलब है. बीते साल आए विभिन्न कोर्ट के फ़ैसलों को और महिला आंदोलनों को नारीवाद की दृष्टि से कैसे देखा जा सकता है.

‘जितनी विविधता देश में है, उतनी ही विविधता महिलाओं के ख़िलाफ़ होने वाले अपराधों में भी है’

भारत में महिलाओं के ख़िलाफ़ अपराध पर लंबे समय से रिपोर्टिंग और बलात्कार की घटनाओं पर ‘नो नेशन फॉर वीमेन’ किताब लिखने वाली पत्रकार और लेखक प्रियंका दुबे से मीनाक्षी तिवारी की बातचीत.

महिलाओं के श्रम का सम्मान और उनकी आज़ादी का ख़्वाब कब पूरा होगा?

अंतरराष्ट्रीय श्रमजीवी महिला दिवस के इतिहास को देखा जाए तो 100 साल पहले मज़दूर महिलाएं काम के घंटे कम करवाने, बराबर वेतन पाने और वोटिंग करने के अधिकार को लेकर लड़ाई लड़ रहीं थी पर आज जिस तरह से महिला दिवस मनाया जा रहा है वो उसके उलट है.

पिंजरा तोड़: दिल्ली से निकला आंदोलन विभिन्न राज्यों के कॉलेज और विश्वविद्यालयों तक पहुंचा

छात्राओं के हॉस्टल वापस आने की टाइमिंग, मोरल पुलिसिंग, यौन प्रताड़ना और भेदभावपूर्ण नियमों के ख़िलाफ़ शुरू हुआ पिंजरा तोड़ आंदोलन अब कई राज्यों के कॉलेज और विश्वविद्यालयों में होने लगा है.

समाज ने शादी नाम की संस्था में महिलाओं को कमज़ोर बनाया है: कल्कि कोचलिन

मार्गरिटा विथ अ स्ट्रॉ, वेटिंग और दैट गर्ल इन यलो बूट्स जैसी फिल्मों में काम करने वाली अभिनेत्री कल्कि कोचलिन ने कहा कि शादी के बाद लोग उन्हें ‘अनुराग की पत्नी’ कहते थे लेकिन अनुराग को कभी ‘कल्कि का पति’ नहीं कहा.

जामिया मिलिया में रात नौ बजे के बाद छात्राओं के हॉस्टल से बाहर रहने पर फिर लगी रोक

सुरक्षा का हवाला देकर जामिया प्रबंधन ने छात्राओं के हॉस्टल बंद होने की समयसीमा रात 10:30 बजे से घटाकर नौ बजे की. इस नियम के ख़िलाफ़ प्रदर्शन पर भी लगाया प्रतिबंध.

बाल विवाह के पक्ष में होना महज़ एक विचार नहीं, बल्कि एक घातक विचारधारा है

इस विचारधारा में स्त्रियों, बच्चों, क़ानून, समाज में बराबरी, सहिष्णुता और सुरक्षा के प्रति कोई सम्मान नहीं है. बाल विवाह केवल लड़कियों के जीवन को संकुचित और दुरूह नहीं बनाता है, लड़कों के जीवन को भी उतना ही प्रताड़ित करता है.