पुरुषत्व और मर्दवाद की स्थापना के चलते लड़कों के लैंगिक शोषण को महत्वहीन विषय माना गया है. यदि कोई यह शिकायत करता है तो उसे अपमान झेलना पड़ता है और कमज़ोर माना जाता है.
अदालत ने एक मामले की सुनवाई के दौरान स्पष्ट किया कि पोक्सो क़ानून की जानकारी न होने से युवाओं का जीवन ख़राब हो रहा है. इससे लोगों को अवगत कराना ज़रूरी है.