सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार और उपराज्यपाल के अधिकार क्षेत्र को लेकर फैसला सुनाया है, जिसमें भ्रष्टाचार रोधी शाखा और जांच कमीशन को केंद्र सरकार के अधीन रखा गया है जबकि बिजली एवं राजस्व विभाग को दिल्ली सरकार के अधीन रखा गया है. सेवाओं के मामले में दोनों जजों में मतभेद के चलते इसे तीन जजों की पीठ के समक्ष भेजा गया है.
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि पीएमओ और केंद्र ने हमारी सरकार के कामकाज में रोड़े अटकाने के लिए उपराज्यपाल, आईएएस अधिकारियों और सीबीआई, ईडी, आयकर विभाग एवं दिल्ली जैसी एजेंसियों को लगा रखा है.