असम में सीएए के ख़िलाफ़ प्रदर्शन तेज, विपक्ष ने राज्य के लिए ‘काला दिवस’ क़रार दिया

गृह मंत्रालय द्वारा नागरिकता संशोधन अधिनियम को अधिसूचित करने की ख़बर फैलते ही असम के ग़ैर-छठी अनुसूची वाले क्षेत्रों में इसके विरोध में दर्जनों छात्र नारे लगाते हुए निकल पड़े. विभिन्न छात्र संगठनों ने राज्य के अलग-अलग हिस्सों में सड़कों पर उतरकर अधिनियम की प्रतियां जलाईं.

मुख्यमंत्री और अन्य वीआईपी की हवाई यात्रा पर 58 करोड़ से अधिक रुपये ख़र्च हुए: असम सरकार

असम विधानसभा में य​ह प्रतिक्रिया ‘द वायर’ और ‘द क्रॉसकरंट’ वेबसाइट द्वारा मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा शर्मा की ग़ैर-सरकारी यात्रा के दौरान चार्टर्ड उड़ानों पर राज्य सरकार द्वारा करोड़ों ख़र्च करने पर एक संयुक्त रिपोर्ट प्रकाशित करने के तीन दिन बाद आई है. विधायक अखिल गोगोई के प्रश्नों के जवाब में राज्य सरकार ने यह जानकारी दी है.

असम के सीएम के परिवार के स्वामित्व वाली कंपनी को केंद्र से 10 करोड़ की सब्सिडी मिलने का आरोप

प्राइड ईस्ट एंटरटेनमेंट प्राइवेट लिमिटेड नामक कंपनी का स्वामित्व असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा शर्मा के परिवार के पास है. 10 नवंबर 2022 को इसकी एक खाद्य प्रसंस्करण परियोजना के लिए केंद्र सरकार द्वारा सब्सिडी प्रदान की गई थी. मुख्यमंत्री ने इससे इनकार किया है, लेकिन मामले ने तब तूल पकड़ लिया, जब कांग्रेस ने आधिकारिक दस्तावेज़ पेश कर दिए.

असम: सीएए विरोधी प्रदर्शन मामले में सुप्रीम कोर्ट ने अखिल गोगोई की गिरफ़्तारी पर रोक लगाई

असम के सिवसागर से निर्दलीय विधायक अखिल गोगोई ने गौहाटी उच्च न्यायालय के 9 फरवरी के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती थी, जिसमें राज्य की एक विशेष एनआईए अदालत को दो मामलों में से एक में आरोप तय करने के लिए आगे बढ़ने की अनुमति दी गई थी.

गुवाहाटी हाईकोर्ट ने निर्दलीय विधायक अखिल गोगोई के ख़िलाफ़ आरोप तय करने की अनुमति दी

गुवाहाटी हाईकोर्ट ने एनआईए को असम के निर्दलीय विधायक अखिल गोगोई और उनके तीन सहयोगियों पर सीएए के ख़िलाफ़ प्रदर्शनों और माओवादियों से संदिग्ध संबंधों के सिलसिले में आरोप तय करने की अनुमति दे दी. विशेष एनआईए अदालत ने जुलाई 2021 में उन्हें आरोपमुक्त कर दिया था, जिसे एनआईए ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी.

किसान आंदोलन की सफलता से उत्साहित असम के संगठन सीएए विरोधी प्रदर्शन को करेंगे तेज़

असम में कई संगठनों के नेताओं ने कहा कि सीएए के ख़िलाफ़ आंदोलन ने कोविड​​-19 महामारी के कारण अपना ‘सामूहिक स्वरूप’ खो दिया, लेकिन कृषि क़ानूनों को निरस्त करने के निर्णय ने उनके आंदोलन को प्रेरणा दी है. पूर्वोत्तर में कई संगठन इस आशंका से सीएए का विरोध करते हैं कि इससे क्षेत्र की जनसांख्यिकी में परिवर्तन होगा.

हिमंता असम के इतिहास के सबसे सांप्रदायिक और विभाजनकारी मुख्यमंत्रीः अखिल गोगोई

असम विधानसभा में गो- संरक्षण विधेयक पारित किया गया है, जिसके तहत हिंदू, जैन, सिख बाहुल्य इलाकों और गोमांस न खाने वाले अन्य समुदायों वाले क्षेत्रों में गोमांस की ख़रीद और बिक्री पर प्रतिबंध का प्रावधान है. साथ ही मंदिर या वैष्णव मठ के पांच किलोमीटर के दायरे में  गोमांस ख़रीदने-बेचने की मनाही है. इस विधेयक को पारित होने से न रोक पाने के लिए विधायक अखिल गोगोई ने असम के लोगों से माफ़ी मांगी है.

असम में पुलिस मुठभेड़ जारी, वकील ने एनएचआरसी में शिकायत दर्ज कर जांच की मांग की

वकील ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को दी गई अपनी शिकायत में दावा किया है कि पुलिस ने फ़र्ज़ी मुठभेड़ों में छोटे अपराधियों को गोली मारी है. हाल में ऐसी 20 से अधिक मुठभेड़ हुई हैं. सभी कथित अपराधी ड्रग डीलर, पशु तस्कर, डकैत जैसे छोटे किस्म के अपराधी थे, आतंकवादी नहीं थे. इनके हथियार चलाने के लिए प्रशिक्षित होने की संभावना भी नहीं थी.

हिमंता बिस्वा शर्मा के ‘अपराधियों को गोली मारो’ बयान के गंभीर नतीजे होंगे: कांग्रेस

असम में बीते दो महीने में कथित तौर पर हिरासत से भागने का प्रयास कर रहे क़रीब 12 संदिग्ध अपराधियों को मार गिराया गया है, जिसे लेकर विपक्ष के सवालों के बाद इन्हें उचित ठहराते हुए मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा शर्मा ने कहा था कि आरोपी पहले गोली चलाए या भागने की कोशिश करे, तो क़ानूनन पुलिस को गोली चलाने की अनुमति है. 

अपराधी यदि भागने का प्रयास करें, तो मुठभेड़ पैटर्न होना चाहिए: हिमंता बिस्वा शर्मा

असम में बीते दो महीने में कथित तौर पर हिरासत से भागने का प्रयास कर रहे क़रीब 12 संदिग्ध अपराधियों को मार गिराया गया है, जिसे लेकर राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप जारी हैं. मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा शर्मा ने मुठभेड़ों को उचित ठहराते हुए कहा कि आरोपी पहले गोली चलाए या भागने की कोशिश करे, तो क़ानूनन पुलिस को गोली चलाने की अनुमति है.

असम: बीते दो महीने में भागने की कोशिश में 12 अपराधी मारे गए; विपक्ष ने पुलिस को क्रूर बताया

बीते 10 मई को हिमंता बिस्वा शर्मा के नेतृत्व में भाजपा की सरकार के दोबारा सत्ता में आने के बाद से ऐसी घटनाओं की संख्या में वृद्धि पर विपक्ष ने आरोप लगाया है कि पुलिस नई सरकार के सामने ख़ुद को साबित करने की कोशिश कर रही है. वहीं, असम पुलिस ने दावा किया है कि उग्रवादियों और अपराधियों ने ही उसके कर्मचारियों को गोलियां चलाने पर मजबूर किया था.

नागरिकता संशोधन क़ानून के ख़िलाफ़ आंदोलन को पुनर्जीवित किया जाएगा: अखिल गोगोई

असम के शिवसागर से विधायक अखिल गोगोई जेल से छूटने के बाद पहली बार अपने निर्वाचन क्षेत्र का दौरा किया. गोगोई ने विशेष एनआईए अदालत द्वारा जांच एजेंसी की ओर से लगाए गए सभी आरोपों से उन्हें बरी करने को ‘ऐतिहासिक’ क़रार देते हुए कहा कि उनका मामला सबूत है कि यूएपीए और एनआईए अधिनियम का बड़े पैमाने पर दुरुपयोग किया जा रहा हैं. उन्होंने एनआईए को भाजपा नीत केंद्र सरकार का ‘राजनीतिक हथियार’ भी क़रार दिया है.

असम: एनआईए अदालत ने अखिल गोगोई को यूएपीए के तहत सभी आरोपों से बरी किया

असम के शिवसागर से विधायक अखिल गोगोई और उनके तीन साथियों को एनआईए अदालत ने चांदमारी मामले के संबंध में बरी कर दिया. इस मामले में उन पर माओवादियों से संबंध रखने का आरोप था. गोगोई ने इस फ़ैसले को भारत की क़ानूनी व्यवस्था की जीत बताया है.

असम: पैरोल पर रिहा अखिल गोगोई ने कहा, मुख्यमंत्री मुझे सलाखों के पीछे रखने की साजिश रच रहे

असम के शिवसागर से निर्दलीय विधायक अखिल गोगोई बीते 25 जून की दोपहर को पैरोल मिलने के बाद देर रात गुवाहाटी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल से बाहर निकले, जहां उनका इलाज चल रहा है. उन्होंने गुवाहाटी में पत्नी और बेटे के साथ किराये के मकान में रात बिताई और शनिवार को अपनी मां से मुलाकात की. उन्हे सीएए विरोधी प्रदर्शनों के वक्त जोरहाट से दिसंबर 2019 में गिरफ़्तार किया गया था.

असम: एनआईए अदालत ने अखिल गोगोई को दो में से एक यूएपीए मामले में बरी किया

असम के शिवसागर के विधायक अखिल गोगोई को फिलहाल जेल में ही रहना होगा क्योंकि यूएपीए के दूसरे मामले में उनके ख़िलाफ़ सुनवाई अभी चल रही है. राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने राज्य में हिंसक सीएए विरोधी प्रदर्शनों में कथित संलिप्तता के मामले में 2019 में उन्हें गिरफ़्तार किया था.

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