संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने कहा कि दुनियाभर में कोविड-19 ज़िंदगियों और आजीविकाओं को तबाह कर रहा है और सबसे कमज़ोर, सबसे अधिक प्रभावित हो रहे हैं.
1994 के रवांडा नरसंहार में बहुसंख्यक हुतु समुदाय ने तुत्सी समुदाय के आठ लाख लोगों की हत्या कर दी थी. कभी रवांडा के अमीर कारोबारी रहे फेलिसीन काबुगा पर हुतु जाति के चरमपंथी समूहों की आर्थिक मदद सहित कई आरोप हैं.
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस शुक्रवार को कहा कि इंटरनेट से लेकर सड़कों तक हर जगह विदेशियों के ख़िलाफ़ नफ़रत बढ़ गई है. यहूदी विरोधी षड्यंत्र फैला है और कोविड-19 के संबंध में मुसलमानों पर हमले बढ़े हैं.
संयुक्त राष्ट्र महासिचव एंतोनियो गुतारेस का यह बयान ऐसे समय में आया है जब हाल ही में भारत ने अमेरिका समेत कई देशों को कोरोना वायरस संक्रमण का संभावित उपचार मानी जा रही मलेरिया रोधी दवा हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन की आपूर्ति की है.
कोरोना संकट के दौरान देश-विदेश से महिलाओं के ख़िलाफ़ बढ़ती घरेलू हिंसा की ख़बरें आ रही हैं. कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच घर में बंद रहने के अलावा कोई चारा भी नहीं है. लेकिन अफ़सोस कि टीवी पर आ रहे निर्देशों में पारिवारिक हिंसा पर जागरूकता के संदेश नदारद हैं. महिलाओं पर पड़े कामकाज के बोझ को भी चुटकुलों में तब्दील किया जा चुका है.
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने कहा कि हिंसा महज़ रणक्षेत्र तक ही सीमित नहीं है और कई महिलाओं व लड़कियों के लिए सबसे ज़्यादा ख़तरा तब होता है जब उन्हें अपने घरों में सबसे सुरक्षित होना चाहिए.
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरस के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने कहा कि दिल्ली के उत्तर पूर्व इलाके में सांप्रदायिक हिंसा में अनेक लोगों के हताहत होने से संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ‘बहुत दुखी’ हैं और उन्होंने हिंसा के मामले में अधिकतम संयम बरतने की अपील की है.
अमेरिका में ‘सीनेट इंडिया कॉकस' के सह-अध्यक्ष और अमेरिकी सांसद मार्क वार्नर ने कश्मीर के हालात पर चिंता जताते हुए भारत सरकार से अपील की है कि वह प्रेस, सूचना एवं राजनीतिक भागीदारी की आज़ादी देकर लोकतांत्रिक सिद्धांतों का पालन करे.
पर्यावरण कार्यकर्ता ग्रेटा थनबर्ग ने कहा कि हम सामूहिक विनाश की कगार पर हैं जबकि आप पैसों और आर्थिक विकास की काल्पनिक कथाओं के बारे में बातें कर रहे हैं. आपकी ऐसा करने की हिम्मत कैसे हुई?
मीडिया बोल की इस कड़ी में उर्मिलेश जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाने को पाकिस्तान द्वारा संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में ले जाने पर वरिष्ठ पत्रकार मनोज जोशी, पूर्व भारतीय राजदूत मीरा शंकर और हिंदुस्तान टाइम्स के पॉलिटिकल एडिटर विनोद शर्मा से चर्चा कर रहे हैं.
चीन और पाकिस्तान के अनुरोध पर शुक्रवार को जम्मू कश्मीर मामले पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बंद कमरे में बैठक हुई. भारत ने कहा कि सुरक्षा परिषद बैठक समाप्त होने के बाद हमने पहली बार देखा कि दोनों देश (चीन और पाकिस्तान) अपने देश की राय को अंतरराष्ट्रीय समुदाय की राय बताने की कोशिश कर रहे थे.
संयुक्त राष्ट्र राजनयिक ने बताया कि चीन ने सुरक्षा परिषद की कार्यसूची में शामिल ‘भारत-पाकिस्तान सवाल' पर चर्चा की मांग की है. यह मांग पाकिस्तान की ओर से सुरक्षा परिषद के अध्यक्ष को लिखे पत्र के संदर्भ में की गई है.
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने भारत और पाकिस्तान के बीच 1972 में हुए शिमला समझौते का जिक्र किया, जिसमें कश्मीर में तीसरे पक्ष की मध्यस्थता से इनकार किया गया है.