वीडियो: महाराष्ट्र के विदर्भ क्षेत्र में अमरावती लोकसभा सीट पर किसान मोदी सरकार से नाराज़ हैं. उनका कहना है कि उन्हें बीते दस सालों से अपनी फसल का उचित दाम नहीं मिला. अमरावती के आसपास के ज़िलों में सोयाबीन, रुई, बाजरा, चना, गेहूं का उत्पादन होता है. किसानों की आत्महत्या भी यहां एक बड़ा मुद्दा है. इनके बारे में वहां के किसानों से बातचीत.
वीडियो: महाराष्ट्र में विदर्भ के सोनेगांव के किसानों ने का कहना है कि मोदी सरकार की कृषि नीतियां उनकी समस्याओं का समाधान नहीं कर सकी हैं. उन्हें ऋण माफी और कपास का भाव नहीं मिल रहा है. किसान कपास के उचित मूल्य की मांग लगातार कर रहे है, लेकिन उनकी यह मांग पूरी नहीं हो रही है.
विपक्षी दलों ने भाजपा के घोषणा पत्र को लेकर कहा कि इसका नाम 'माफ़ीनामा' रखा जाना चाहिए. भाजपा ने कहा था कि 2022 तक किसानों की आय दोगुनी कर देंगे, लेकिन हक़ीक़त यह है कि आज किसानों की आय घट गई है और क़र्ज़ दोगुना हो गया है.
गोरखपुर ज़िले में नेशनल हाईवे 28 पर बाईपास निर्माण के लिए अधिग्रहीत भूमि का कम मुआवज़ा पाने से नाराज़ 26 गांवों के किसानों ने उचित मुआवज़ा न मिलने पर भाजपा को वोट न देने का नारा बुलंद करते हुए उनके गांव में 'भाजपा नेताओं का प्रवेश वर्जित' लिखे बैनर और पोस्टर लगाए हैं.
राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि 'हवाई चप्पल वालों को हवाई जहाज़ की यात्रा' का सपना दिखाकर नरेंद्र मोदी ‘ग़रीबों की सवारी’ रेलवे को भी उनसे दूर करते जा रहे हैं. प्रचार के लिए चुनी गई ट्रेन के लिए आम आदमी की ट्रेनों को जहां-तहां खड़ा कर दिया जाता है, ग़रीब और मध्यमवर्ग रेलवे की प्राथमिकता से बाहर कर दिए गए हैं.
तीन कृषि क़ानूनों के ख़िलाफ़ किसानों के आंदोलन को वापस लेने के समय 2 दिसंबर 2021 को संयुक्त किसान मोर्चा के साथ केंद्र द्वारा किए गए समझौतों को तुरंत लागू करने की मांग के साथ 21 फरवरी को प्रदर्शन किया जाएगा. संगठन ने चुनावी बॉन्ड पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले को किसानों की समस्याओं से जोड़ते हुए इसके माध्यम से भ्रष्टाचार को वैध बनाने के लिए मोदी सरकार की निंदा की.
पंजाब-हरियाणा सीमा स्थित शंभू बैरियर का दृश्य 2020 में दिल्ली की सीमाओं पर हुए किसान आंदोलन की सटीक पुनरावृत्ति है. किसानों ने कहा कि पिछले आंदोलन के समय हमें एमएसपी पर क़ानून बनाने का आश्वासन दिया था, तो केंद्र सरकार क़रीब तीन साल तक क्यों बैठी रही. मोदी सरकार निश्चित रूप से अपने अहंकार के चरम पर है.
केंद्र सरकार ने हाल ही में कृषि वैज्ञानिक एमएस स्वामीनाथन को 'भारत रत्न' से सम्मानित करने का ऐलान किया है, जिसके उपलक्ष्य में आयोजित एक कार्यक्रम में उनकी बेटी मधुरा स्वामीनाथन ने कहा कि अगर हमें एमएस स्वामीनाथन का सम्मान करना है, किसानों को अपने साथ लेकर चलना होगा.
वीडियो: राष्ट्रीय लोक दल प्रमुख जयंत चौधरी के विपक्षी 'इंडिया' गठबंधन छोड़कर एनडीए में शामिल होने की पुष्टि किए जाने को लेकर इसकी पूर्व सहयोगी समाजवादी पार्टी के नेता सुधीर पंवार से द वायर के पॉलिटिकल एडिटर अजॉय आशीर्वाद की बातचीत.
किसान मज़दूर संघर्ष समिति के बैनर तले 200 किसान संगठनों और संयुक्त किसान मोर्चा के एक गुट ने 13 फरवरी को एमएसपी क़ानून और कृषि ऋण माफ़ी समेत विभिन्न मांगों को लेकर 13 फरवरी को दिल्ली कूच का आह्वान किया है. इससे पहले केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा, नित्यानंद राय और पीयूष गोयल किसान प्रतिनिधियों से मिलने पहुंचे थे.
मराठवाड़ा संभागीय आयुक्त कार्यालय की एक रिपोर्ट के अनुसार, साल 2023 में मराठवाड़ा में 1,088 किसानों ने आत्महत्या की. मराठवाड़ा के बीड ज़िले में सबसे अधिक 269 मौतें दर्ज की गईं. इसके बाद औरंगाबाद ज़िले में 182, नांदेड़ में 175, धाराशिव में 171 और परभणी ज़िले में 103 मौतें हुईं.
वीडियो: साल 2023 में आमदनी, बेरोज़गारी, ग़रीबी, महंगाई, जीडीपी, खेती-किसानी, एमएसपी पर मोदी सरकार की अर्थनीति क्या रही है? द वायर के अजय कुमार बता रहे हैं कि देश की सत्ता पर क़रीब 10 साल से क़ाबिज़ मोदी सरकार के तहत ज़्यादातर लोगों के जीवन में कोई बड़ा बुनियादी बदलाव नहीं आया है.
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केंद्र के ख़िलाफ़ अभियान शुरू करेगा संयुक्त किसान मोर्चा, 26 जनवरी को 500 ज़िलों में होगी ट्रैक्टर परेड
संयुक्त किसान मोर्चा ने कहा कि देशभर के 20 राज्यों में इसकी राज्य इकाइयां 10-20 जनवरी तक घर-घर जाकर और पर्चा वितरण के माध्यम से ‘जन जागरण’ अभियान चलाएंगी. इसका उद्देश्य केंद्र सरकार की ‘कॉरपोरेट समर्थक आर्थिक नीतियों को उजागर करना’ है.
साल 1920 में अवध किसान सभा ने ब्रिटिश सरकार के किसान विरोधी क़ानूनों व नीतियों के ख़िलाफ़ संघर्ष की रणभेरी बजाने के लिए सम्मेलन हेतु अयोध्या के सरयू तट को चुना था. दमनकारी सरकार की निगाहों से बचते हुए सूबे के कोई एक लाख किसान वहां पहुंचे थे, जिनके लिए अयोध्या के संतों ने अपने मठ-मंदिर खोल दिए थे.