आईआईटी-मुंबई द्वारा प्रधानमंत्री जन-धन खाता योजना पर तैयार रिपोर्ट के मुताबिक़, एसबीआई ने अप्रैल 2017 से सितंबर 2020 के दौरान योजना के तहत खोले गए साधारण बचत खातों से यूपीआई व रुपे लेनदेन के एवज़ में 254 करोड़ रुपये से अधिक शुल्क वसूला था, जिसे सरकार ने वापस लौटाने का निर्देश दिया था.
रेलवे बोर्ड ने भारतीय रेलवे स्टेशन विकास निगम को बंद करने का आदेश दिया है. इससे पहले सात सितंबर को भारतीय रेलवे वैकल्पिक ईंधन संगठन को बंद किया गया था. वित्त मंत्रालय ने अपनी एक रिपोर्ट में सिफ़ारिश की थी कि सरकार निकायों को बंद करके या विभिन्न मंत्रालयों के तहत कई संगठनों का विलय करके उन्हें युक्तिसंगत बनाए.
अगर महज़ दो फीसदी बाज़ार हिस्सेदारी वाले अमेज़ॉन को ईस्ट इंडिया कंपनी 2.0 कहा जा सकता है, तो फिर केंद्र सरकार को क्या कहा जाए जो एक तरफ सरकारी एकाधिकार रहे जनरल इंश्योरेंस कॉरपोरेशन और लाइफ इंश्योरेंस कॉरपोरेशन की बिक्री के लिए विदेशी पूंजी को दावत दे रही है, दूसरी तरफ ऊर्जा और रेलवे जैसे रणनीतिक क्षेत्र में थोक भाव से निजीकरण को बढ़ावा दे रही है?
आरएसएस से जुड़ी पत्रिका ‘पाञ्चजन्य’ के 5 सितंबर के संस्करण के लेख में भारतीय सॉफ्टवेयर कंपनी इंफोसिस पर निशाना साधते हुए इसे ‘ऊंची दुकान, फीका पकवान’ क़रार दिया गया था. इसमें यह भी आरोप लगाया गया था कि इंफोसिस का ‘राष्ट्र-विरोधी’ ताकतों से संबंध है और इसके परिणामस्वरूप सरकार के जीएसटी तथा आयकर पोर्टल में गड़बड़ की गई है.
कोरोना महामारी के चलते खड़ी हुई अप्रत्याशित स्थिति में भारत सरकार ने प्रधानमंत्री जन-धन योजना के तहत महिला खाताधारकों को तीन किस्तों में 1,500 रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की थी. अब आरटीआई के तहत सामने आई जानकारी में इसके आंकड़ों में विसंगतियां मिली हैं.
आरएसएस के सह सरकार्यवाह मनमोहन वैद्य का यह बयान ऐसे समय में आया है, जब संगठन से जुड़ी ‘पाञ्चजन्य’ पत्रिका सॉफ्टवेयर कंपनी इंफोसिस की आलोचना करने से जुड़े एक लेख से राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रचार प्रमुख ने दूरी बना ली थी. पत्रिका ने लेख में जीएसटी और आयकर पोर्टल में आ रहीं गड़बड़ियों को लेकर इंफोसिस पर निशाना साधते हुए कहा था कि कंपनी टुकड़े-टुकड़े गैंग के साथ काम कर रही है.
आरएसएस से जुड़ी एक पत्रिका ‘पाञ्चजन्य’ के 5 सितंबर के संस्करण के लेख में भारतीय सॉफ्टवेयर कंपनी इंफोसिस पर निशाना साधा गया था और इसे ‘ऊंची दुकान, फीका पकवान’ क़रार दिया गया था. इसमें यह भी आरोप लगाया गया था कि इंफोसिस का ‘राष्ट्र-विरोधी’ ताकतों से संबंध है और इसके परिणामस्वरूप सरकार के जीएसटी तथा आयकर पोर्टल में गड़बड़ की गई है.
इंफोसिस द्वारा विकसित जीएसटी और आयकर पोर्टलों में खामियों को लेकर आरएसएस से संबंधित साप्ताहिक पत्रिका ‘पाञ्चजन्य’ ने स्वदेशी सॉफ्टवेयर निर्माता कंपनी पर हमला किया है और पूछा है कि क्या कोई ‘राष्ट्र-विरोधी’ शक्ति इसके माध्यम से भारत के आर्थिक हितों को आघात पहुंचाने की कोशिश कर रही है.
आयकर दाखिल करने के नया पोर्टल सात जून को शुरू किया गया था. यूज़र्स लगातार इस बात की शिकायत करते रहे हैं कि या तो पोर्टल अनुपलब्ध है या बेहद धीमी गति से काम कर रहा है. इसके मद्देनजर आयकर विभाग ने रेमिटेंस फॉर्म को मैनुअल तरीके से दाखिल करने की अनुमति दी है. साथ ही इलेक्ट्रॉनिक तरीके से फॉर्म जमा करने की तारीख को आगे बढ़ाया गया है.
इस धोखाधड़ी के मास्टरमाइंड 37 वर्षीय चंदन कुमार सिन्हा हैं, जो मुंबई के कांदिवली स्थित ईपीएफओ ऑफिस में क्लर्क हैं. आरोप है कि इन्होंने संगठन के पांच अन्य साथियों के साथ मिलकर पीएफ का 21 करोड़ रुपये चुराया है. जुलाई की शुरुआत में धोखाधड़ी का ये मामला सामने आने के बाद से सिन्हा फ़रार हैं.
बीते 10 वर्षों में स्विस बैंक में जमा की गई धनराशि और इसे वापस लाने के बारे में केंद्र सरकार से सवाल पूछा गया था, जिसके लिखित जवाब में वित्त राज्यंमत्री पंकज चौधरी ने यह बयान लोकसभा में दिया. इसके इतर वित्त मंत्रालय ने काले धन से निपटने के लिए लागू किए गए क़ानूनों की जानकारी दी और इस संबंध में देशों के साथ किए गए समझौतों के बारे में बताया.
वित्त मंत्रालय ने कोविड-19 महामारी के मद्देनज़र पिछले साल अप्रैल में केंद्र सरकार के 50 लाख कर्मचारियों और 61 लाख केंद्रीय पेंशनभोगियों के महंगाई भत्ते में वृद्धि पर 30 जून 2021 तक के लिए रोक लगा दी थी.
बीते फरवरी में लंदन में वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट की अदालत ने कहा था कि नीरव मोदी का भारत में प्रत्यर्पण मानवाधिकारों के अनुरूप है. हीरा कारोबारी नीरव मोदी साल 2018 में पंजाब नेशनल बैंक से क़रीब 1400 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के मामले में जालसाज़ी और मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों को लेकर भारत में वांछित हैं.
साल 2017 में ईपीडब्ल्यू पत्रिका में छपे एक लेख को लेकर अडानी समूह ने इसके तत्कालीन संपादक और लेख के सह-लेखक प्रंजॉय गुहा ठाकुरता के ख़िलाफ़ मानहानि का मुक़दमा दायर किया था. अब गुजरात की एक अदालत ने ठाकुरता की गिरफ़्तारी का वारंट जारी किया है.
इंडियन एक्सप्रेस द्वारा प्राप्त रिकॉर्ड बताते हैं कि 2019 में वित्त मंत्रालय और नीति आयोग ने देश के छह हवाई अड्डों की बोली प्रक्रिया को लेकर आपत्ति जताई थी कि एक ही कंपनी को छह हवाई अड्डे नहीं दिए जाने चाहिए.