क्या यूपी सरकार द्वारा हलाल सर्टिफाइड उत्पादों पर बैन दुर्भावना से प्रेरित है?

बीते महीने उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने जन स्वास्थ्य का हवाला देते हुए हलाल सर्टिफिकेट के साथ बेचे जाने वाले खाद्य उत्पादों के उत्पादन, भंडारण और बिक्री पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी. हालांकि, ऐसे उत्पाद में क्या ग़लत है, स्वास्थ्य की दृष्टि से क्या नुकसान हुआ, इसकी कोई जानकारी नहीं दी गई है.

उत्तर प्रदेश में हलाल सर्टिफाइड उत्पादों पर प्रतिबंध पूरी तरह से नाजायज़ क्यों है

वीडियो: हाल ही में उत्तर प्रदेश सरकार ने हलाल सर्टिफिकेट के साथ बेचे जाने वाले उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया है. सरकार ने कहा था कि हलाल प्रमाणीकरण वाले खाद्य उत्पादों के उत्पादन, भंडारण, वितरण और बिक्री पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी गई है.

यूपी सरकार ने हलाल सर्टिफिकेट वस्तुओं को हटाने के लिए राज्य भर की दुकानों को 15 दिन का समय दिया

बीते 18 नवंबर को उत्तर प्रदेश सरकार ने हलाल सर्टिफिकेट के साथ बेचे जाने वाले उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया था. अब सरकार ने 92 राज्य-आधारित निर्माताओं को निर्देश दिया है, जो अपने माल के लिए ग़ैर-प्रमाणित संगठनों से हलाल प्रमाणीकरण प्राप्त कर रहे थे, ताकि वे यूपी के भीतर अपने उत्पादों को वापस ले सकें या उन्हें दोबारा पैक करें.

मुस्लिम संगठनों ने यूपी सरकार के हलाल प्रतिबंध की आलोचना की, कहा- क़ानूनी विकल्प तलाशेंगे

हाल ही में उत्तर प्रदेश सरकार ने हलाल सर्टिफिकेट के साथ बेचे जाने वाले उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया है. मुस्लिम संगठनों ने कहा है कि यह कार्रवाई स्पष्ट रूप से मुस्लिम समुदाय और इस्लाम के ख़िलाफ़ नफ़रत पर आधारित है. यह नागरिकों के आस्था द्वारा अनुमत भोजन खाने के मौलिक अधिकार का उल्लंघन है.

यूपी सरकार ने हलाल-सर्टिफिकेट उत्पादों की बिक्री पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगाया

यह क़दम एक कंपनी और कुछ अन्य संगठनों के ख़िलाफ़ ‘जाली’ हलाल सर्टिफिकेट देकर बिक्री बढ़ाने के लिए ‘लोगों की धार्मिक भावनाओं का शोषण’ करने के आरोप में एफ़आईआर दर्ज होने के बाद उठाया गया है. सरकार की ओर से कहा गया है कि हलाल-प्रमाणित उत्पादों की ख़रीद-बिक्री में लगे व्यक्ति/फर्म के ख़िलाफ़ सख़्त क़ानूनी उपाय लागू किए जाएंगे.