जम्मू कश्मीर में अनिवासियों को फ़र्ज़ी दस्तावेज़ के आधार पर 2012 से 2016 के दौरान 2.78 लाख शस्त्र लाइसेंस जारी करने के आरोप में साल 2019 में दर्ज एक मामले में संबंध में ये छापेमारी की गई. आरोप है कि विभिन्न ज़िलों के उपायुक्तों ने धन के लालच में फ़र्ज़ी और अवैध रूप से थोक में लाइसेंस जारी किया था.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक हुई, जिसमें जम्मू कश्मीर में केंद्र के शासन के विस्तार को मंजूरी दे दी गई. यह राज्य में 19 दिसंबर, 2018 से लगे राष्ट्रपति शासन का ही विस्तार है.
भारत ने कश्मीर पर मानवाधिकार उल्लंघन संबंधी संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद की रिपोर्ट को ‘भ्रामक’ बताकर ख़ारिज कर दिया था.
मुख्यमंत्री महबूबा मुफ़्ती के इस्तीफ़े के बाद राज्यपाल एनएन वोहरा ने राष्ट्रपति को भेजे एक पत्र में राज्य में केंद्र का शासन लागू करने की सिफ़ारिश की थी. राष्ट्रपति ने वोहरा की सिफ़ारिश को मंज़ूरी दे दी है.