राष्ट्रीय पात्रता-सह-प्रवेश परीक्षा (नीट) के ख़िलाफ़ सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में तमिलनाडु सरकार ने कहा है कि परीक्षा ने राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले और राज्य बोर्ड के स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों पर प्रतिकूल प्रभाव डाला है क्योंकि नीट परीक्षा सीबीएसई/एनसीईआरटी पाठ्यक्रम पर आधारित है, जो तमिलनाडु बोर्ड द्वारा निर्धारित पाठ्यक्रम से काफ़ी अलग है.
राजस्थान के कोटा में 16 वर्षीय छात्र ने अपने छात्रवास के कमरे में कथित तौर पर पंखे से लटक जान दे दी. पुलिस ने मृतक की पहचान उत्तर प्रदेश के बरेली निवासी अनिकेत कुमार के रूप में की है. इससे पहले 11 दिसंबर को बिहार के दो किशोरों और मध्य प्रदेश के एक किशोर की आत्महत्या का मामला सामने आया था.
बीते 17 जुलाई को केरल के कोल्लम ज़िले में एक निजी शिक्षण संस्थान में आयोजित नीट परीक्षा के दौरान कथित तौर युवतियों और लड़कियों को परीक्षा में बैठने की अनुमति के लिए अंत:वस्त्र हटाने को कहा गया था. इस संबंध में दर्ज की गई एफ़आईआर के बाद यह कार्रवाई की गई है.
बीते 17 जुलाई को केरल में कोल्लम ज़िले के अयूर स्थित एक निजी शिक्षण संस्थान में आयोजित नीट परीक्षा के दौरान कथित तौर युवतियों और लड़कियों को परीक्षा में बैठने की अनुमति के लिए अंत:वस्त्र हटाने को कहा गया था. केरल की उच्च शिक्षा मंत्री आर. बिंदू ने केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान को पत्र लिखकर छात्राओं को ऐसा करने के लिए मजबूर करने वाली एजेंसी के ख़िलाफ़ कड़ी कार्रवाई की मांग की है.
कोर्ट ने केंद्र से पूछा कि क्या वह ईडब्ल्यूएस श्रेणी के तहत आरक्षण पात्रता के लिए आठ लाख रुपये के मानक पर पुनर्विचार करेगी. कोर्ट ने ओबीसी आरक्षण से इसकी तुलना करते हुए कहा कि आप असमान को समान बना रहे हैं. अदालत ने यह भी कहा कि वह नीति निर्धारण में हस्तक्षेप नहीं कर रही है बल्कि यह निर्धारित करने का प्रयास कर रही है कि संवैधानिक मूल्यों का पालन हुआ या नहीं.
तमिलनाडु के वेल्लोर ज़िले की 17 वर्षीय छात्रा ने बुधवार को आत्महत्या कर ली. पुलिस के मुताबिक, छात्रा को डर था कि वह डॉक्टरी की पढ़ाई के लिए आयोजित ‘नीट’ परीक्षा उत्तीर्ण नहीं कर पाएगी. इससे पहले नीट के तनाव से 12 सितंबर को परीक्षा के कुछ घंटे पहले एक छात्र और 13 सितंबर को एक अन्य छात्रा ने आत्महत्या कर ली थी. नीट लागू होने के बाद से पिछले चार साल में तमिलनाडु में 17 छात्रों ने आत्महत्या की
सत्तारूढ़ डीएमके ने कहा कि सामाजिक न्याय सुनिश्चित करने के लिए राज्य के मेडिकल कॉलेजों में बारहवीं में मिले अंकों के आधार पर प्रवेश दिया जाएगा. जहां कांग्रेस, अन्नाद्रमुक, पीएमके तथा अन्य दलों ने विधेयक का समर्थन किया, वहीं भाजपा ने इसका विरोध करते हुए सदन से वॉक आउट किया.
वीडियो: राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग ने केंद्र सरकार के पास शिकायत दर्ज कराई है कि पिछले 3 सालों में मेडिकल के ओबीसी की लगभग 11,000 सीटों को सामान्य वर्ग के लोगों को दे दिया जा रहा है. 2017 के बाद से राष्ट्रीय पात्रता एवं प्रवेश परीक्षा (नीट) के लिए ओबीसी को अनिवार्य 27 प्रतिशत आरक्षण नहीं दिया जा रहा है. इस बीच बीते 13 जुलाई को सरकार ने नीट का नोटिफिकेशन जारी किया है, जिसमें राष्ट्रीय संस्थानों और केंद्रीय विश्वविद्यालयों
छह राज्यों के मंत्रियों ने सुप्रीम कोर्ट के 17 अगस्त के फ़ैसले पर पुनर्विचार की मांग करते हुए दावा किया था कि अदालत छात्रों की सुरक्षा और जीने के अधिकार की रक्षा में विफल रही है और उसने कोविड-19 महामारी के दौरान परीक्षाओं के आयोजन में आने वाली परेशानियों को नज़रअंदाज़ किया है.
कोरोना वायरस की वजह से नीट और जेईई स्थगित करने से संबंधित एक याचिका सुप्रीम कोर्ट ख़ारिज कर चुका है. इस बीच, केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ ने परीक्षा केंद्रों की संख्या में बढ़ोतरी की जानकारी देते हुए कहा है कि छात्रों के करिअर का ध्यान रखते हुए ऐतिहासिक रूप से निर्णय लिए जा रहे हैं.
वीडियो: मेडिकल प्रवेश परीक्षा (नीट) और इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा (जेईई) की परिक्षाएं सितंबर में तय शेड्यूल के मुताबिक ही होंगी. सुप्रीम कोर्ट ने इन परीक्षाओं को स्थगित करने की मांग वाली याचिका ख़ारिज कर दी. इस मुद्दे पर जामिया हमदर्द के वाइस चांसलर प्रो. ई. हसनैन से द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी की बातचीत.
जेईई की परीक्षा एक से छह सितंबर के बीच और नीट की परीक्षा 13 सितंबर को होनी है. विभिन्न राज्यों के 11 छात्रों ने सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में कहा था कि कोरोना के मद्देनज़र इन्हें रद्द किया जाना चाहिए. अदालत ने याचिका ख़ारिज करते हुए कहा कि ऐसा करने से छात्रों का करिअर संकट में पड़ जाएगा.
नीट का परिणाम बीते पांच जून को घोषित किया गया था. छह जून को तमिलनाडु की एम. मोनिशा और पांच जून को एस. रिधुश्री व एन. वैशिया ने परीक्षा में असफल रहने के बाद आत्महत्या कर ली थी.
मानव संसाधन विकास मंत्रालय द्वारा नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (नीट) की परीक्षा ऑनलाइन और साल में दो बार परीक्षा के फैसले को बदलकर पुराना तरीका अपनाने का निर्णय लिया है. स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा था कि सिर्फ ऑनलाइन मोड में परीक्षा होने से ग्रामीण इलाके में रहने वाले छात्र-छात्राओं को नुकसान हो सकता है.
मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि नेट दिसंबर में आयोजित होगा. नीट का आयोजन हर साल फरवरी और मई तथा जेईई मेन्स की परीक्षा हर साल जनवरी और अप्रैल में कराई जाएगी. अभी तक सीबीएसई ये परीक्षाएं आयोजित कराती थी.