केरल हाईकोर्ट ने एक नाबालिग मुस्लिम लड़की की बाल विवाह के ख़िलाफ़ दर्ज मामले की सुनवाई करते हुए कहा कि कोई भी व्यक्ति पहले भारत का नागरिक है, उसके बाद ही उसका धर्म आता है. इसलिए बाल विवाह निषेध क़ानून सभी धर्मों पर लागू होता है.
महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने राज्यसभा में बताया कि राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों के मुताबिक, वर्ष 2016, 2017, 2018, 2019 और 2020 के दौरान बाल विवाह के पंजीकृत मामलों की संख्या क्रमश: 326, 395, 501, 523 और 785 थी.