मेघालय की राजधानी शिलॉन्ग स्थित पंजाबी लेन में पंजाब के लोग रहते हैं, जिन्हें लगभग 200 साल पहले अंग्रेज़ सफाईकर्मी के रूप में काम करने के लिए लाए थे. मई 2018 में खासी और पंजाबी समुदाय के बीच संघर्ष हुआ था, जिसके बाद क्षेत्र में एक महीने से अधिक समय तक कर्फ्यू में लगाया गया था. खासी इन्हें हटाने की मांग लंबे समय से करते रहे हैं.
इस हफ्ते नॉर्थ ईस्ट डायरी में त्रिपुरा, असम, मणिपुर, मेघालय, नगालैंड और अरुणाचल प्रदेश के प्रमुख समाचार.
कॉनराड संगमा कैबिनेट ने शिलॉन्ग के थेम इव मावलोंग इलाके की पंजाबी लेन से सिखों को स्थानांतरित करने के प्रस्ताव को मंज़ूरी दी है. यह निर्णय उपमुख्यमंत्री प्रेस्टन तिनसॉन्ग की अध्यक्षता वाली उच्चस्तरीय समिति की सिफ़ारिशों पर आधारित है, जिसका गठन मई 2018 में स्थानीय खासी और सिख समुदाय के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद दशकों पुराने भूमि विवाद का समाधान खोजने के लिए किया गया था.