साक्षात्कार: सेना में खाने की गुणवत्ता की शिकायत को लेकर सुर्ख़ियों में आए बीएसएफ के बर्ख़ास्त जवान तेज बहादुर यादव ने वाराणसी सीट से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ख़िलाफ़ लोकसभा चुनाव लड़ने का ऐलान किया था. सोमवार को समाजवादी पार्टी ने उन्हें अपना उम्मीदवार बनाया है. चुनाव प्रचार के लिए वाराणसी पहुंचे तेज बहादुर यादव से हुई बातचीत.
सुप्रीम कोर्ट व हाईकोर्ट के जजों पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाने वाले जस्टिस सीएस कर्णन को जून 2017 में सेवानिवृत्ति के बाद छह महीने की जेल की सज़ा काटनी पड़ी थी. वाराणसी के साथ उन्होंने मध्य चेन्नई लोकसभा सीट के लिए भी अपना नामांकन दाख़िल किया है.
तेज बहादुर यादव ने कहा कि मेरा उद्देश्य जीत या हार नहीं है. मेरा मक़सद लोगों के सामने यह लाना है कि किस तरह से इस सरकार ने सेनाओं, ख़ासकर अर्धसैनिक बलों को निराश किया है. पीएम मोदी हमारे जवानों के नाम पर वोट मांगते हैं लेकिन उनके लिए कुछ नहीं करते हैं.
बीएसएफ जवान तेज बहादुर यादव के 22 वर्षीय बेटे हरियाणा के रेवाड़ी ज़िले में रहते थे. मृतक के घरवालों ने साज़िश की आशंका जताई.
बीएसएफ जवान तेज बहादुर यादव द्वारा सोशल मीडिया पर वीडियो डालकर सीमा पर तैनात जवानों को ख़राब खाना परोसने के लगाए आरोपों के साल भर बाद सेना ने यह कदम उठाया है. तेज बहादुर को बीते वर्ष बर्खास्त किया जा चुका है.
बीएसएफ जवान तेज बहादुर यादव ने सीमा रेखा पर तैनात जवानों को ख़राब गुणवत्ता का खाना परोसे जाने का आरोप लगाया था.
इस साल नौ जनवरी को सोशल मीडिया पर एक वीडियो डालकर तेज बहादुर सिंह ने ख़राब खाना दिए जाने की शिकायत की थी.
सशस्त्र बलों की कठिनाईयों को गंभीरता से समझने की जरूरत है सिर्फ सोशल मीडिया पर बहस करने से इसका हल नहीं निकलने वाला है