पुलिस के मुताबिक, बीते माह राजकोट के टीआरपी गेम ज़ोन में आग लगने की घटना के बाद राजकोट नगर निगम के दो अधिकारियों ने गेम ज़ोन से संबंधित सरकारी दस्तावेजों में कुछ बदलाव किए थे और फर्ज़ी दस्तावेज भी बनाए थे.
गुजरात उच्च न्यायालय की कड़ी टिप्पणी के कुछ ही घंटों के भीतर गुजरात सरकार हरकत में आ गई और कई अधिकारियों के ख़िलाफ़ कार्रवाई आदेश जारी किए हैं.