बुलंदशहर में तीन दिसंबर 2018 को कथित गोकशी को लेकर भड़की हिंसा में इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की हत्या कर दी गई थी. हिंसा में सुमित की भी मौत हो गई थी, जिसे बाद में पुलिस ने सुबोध कुमार सिंह की हत्या का आरोपी बनाया था.
वीडियो: उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में कथित गोकशी के बाद भड़की हिंसा के मुख्य आरोपी को ज़मानत मिल गई है. दूसरी ओर पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता चिन्मयानंद पर बलात्कार का आरोप लगाने वाली छात्रा को रंगदारी मांगने के आरोप में गिरफ़्तार कर लिया गया है. इन मुद्दों पर चर्चा कर रही हैं द वायर की सीनियर एडिटर आरफ़ा ख़ानम शेरवानी.
पिछले साल दिसंबर में उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में कथित गोहत्या के संदेह में हुए विरोध प्रदर्शन के दौरान इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की हत्या कर दी गई थी. आरोप-पत्र के अनुसार, योगेश राज ने ही भीड़ इकट्ठा कर लोगों को हिंसा के लिए उकसाया था.
पिछले साल तीन दिसंबर को बुलंदशहर के महाव गांव के पास गोवंशीय पशुओं के कंकाल बरामद होने पर भड़की हिंसा में इंस्पेक्टर सुबोध सिंह की हत्या कर दी गई थी. मामले के सात आरोपियों को ज़मानत मिलने के बाद उनका कथित तौर पर फूल-मालाओं से स्वागत किया गया. इससे मृतक पुलिस अधिकारी के परिजन नाराज़ हैं.
पिछले साल दिसंबर में उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में गोहत्या के संदेह में हुए विरोध प्रदर्शन के दौरान इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की हत्या कर दी गई थी. इस साल मार्च में कुल 38 लोगों के ख़िलाफ़ आरोपपत्र दाख़िल किया गया था.
एसआईटी द्वारा दायर चार्जशीट में कहा गया है कि हिंसा के मुख्य आरोपी सचिन ने तीन दिसंबर की सुबह बजरंग दल के संयोजक योगेश को महाव में हुई कथित गोहत्या की जानकारी दी, जिसके बाद योगेश ने उसे गो अवशेष और अपने समर्थकों के साथ घटनास्थल पर एकत्र होने को कहा.
बुलंदशहर के एसपी अतुल कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि स्याना के एसएचओ सुबोध कुमार सिंह की हत्या के आरोप में पांच लोगों पर मामला दर्ज किया गया है. अन्य 33 लोगों पर दंगा, आगज़नी और इसी तरह के अन्य अपराधों के लिए मामला दर्ज किया गया है.
बुलंदशहर के पुलिस अधिकारियों का कहना है कि जमानत नहीं देने के लिए इन पर रासुका लगाया गया है. अगर जमानत मिलता है तो ये सबूतों के साथ छेड़छाड़ कर सकते हैं.
जहां बॉलीवुड के अधिकतर अभिनेता सच से मुंह मोड़ने और चुप्पी ओढ़ने के लिए जाने जाते हैं, वहीं मुखरता नसीरुद्दीन शाह की पहचान रही है. उनका व्यक्तित्व उन्हें फिल्म इंडस्ट्री की उस भीड़ से अलग करता है, जिसके लिए शक्तिशाली की शरण में जाना, गिड़गिड़ाते हुए माफ़ी मांगना और कभी भी मन की बात न कहना एक रिवाज़-सा बन चुका है.
नई नीति के तहत शहरी स्थानीय निकायों, खनिज विकास निधि, सांसद निधि, विधायक निधि, मनरेगा और अन्य विभागीय योजनाओं के कुछ फंडों का भी उपयोग गोशाला स्थापित करने के लिए किया जाएगा.
बुलंदशहर में हुई हिंसा में मौके पर तैनात पुलिस इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह और सुमित नाम के एक युवक की हत्या कर दी गई थी.
पुलिस ने गिरफ़्तार आरोपी के क़ब्ज़े से हमले में इस्तेमाल कुल्हाड़ी बरामद की. उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में कथित गोकशी के बाद भड़की हिंसा के दौरान इंस्पेक्टर सुबोध सिंह और सुमित कुमार नाम के युवक की मौत हो गई थी.
पुलिस का कहना है कि 3 दिसंबर को बुलंदशहर में हुई हिंसा के दौरान प्रशांत नट नाम के व्यक्ति ने इंस्पेक्टर सुबोध पर गोली चलाई थी. गिरफ़्तारी के बाद पूछताछ में उसने अपना अपराध स्वीकार किया है.
देश में निचले सामाजिक स्तर तक भय व अविश्वास का ऐसा माहौल बना दिया गया है कि प्रतिरोध की सारी आवाजें घुटकर रह गईं और अब ऊपरी स्तर पर कोई आमिर ख़ान अपना डर या नसीरुद्दीन शाह ग़ुस्सा जताने लगता है, तो उनका मुंह नोंचने की सिरफिरी कोशिशें शुरू कर दी जाती हैं.
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का ये नया फैसला ऐसे समय पर आया है जब विपक्षी दलों ने आरोप लगाया है कि भाजपा सरकार इंसानों की तुलना में गायों पर अधिक ध्यान केंद्रित कर रही है.