कैदियों के परिजनों ने उत्पीड़न के आरोप लगाते हुए राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग का दरवाजा खटखटाया था.
भोपाल: मध्य प्रदेश के भोपाल केंद्रीय कारागार में बंद सिमी के कुछ संदिग्धों के परिवार के सदस्यों ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग का दरवाजा खटखटाकर आरोप लगाया है कि पिछले वर्ष मुठभेड़ में आठ विचाराधीन कैदियों के मारे जाने के बाद से जेल के अधिकारी जेल में बंद उनके परिजन का उत्पीड़न कर रहे हैं और उन्हें पर्याप्त खाना नहीं दे रहे हैं.
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने मामले का संज्ञान लिया है और अपनी जांच टीम को निर्देश दिया है कि घटनास्थल पर जाकर इसकी जांच करे और जल्द से जल्द रिपोर्ट सौंपें.
आठ रिश्तेदारों और कुछ गैर सरकारी संगठनों के सदस्यों के एक प्रतिनिधिमंडल ने हाल में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को ज्ञापन सौंपकर हस्तक्षेप करने की मांग की थी.
आयोग के मुताबिक, नज्मा बी और नौ अन्य लोगों ने ज्ञापन दिया है जिनमें अधिकतर मध्यप्रदेश के उज्जैन जिले के रहने वाले हैं. वे 21 विचाराधीन कैदियों के रिश्तेदार हैं जो भोपाल जेल में बंद हैं.
आयोग मामले पर गहनता से विचार कर रहा है और इसका मानना है कि प्रथमदृष्ट्या सही तथ्यों का पता लगाने की जरूरत है.