केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने एक सवाल के लिखित जवाब में राज्यसभा को यह जानकारी दी. उनसे सवाल किया गया था कि क्या एम्स, आईआईटी और एनआईटी की तर्ज पर भारतीय विज्ञान संस्थान को भी अधिक से अधिक स्थानों पर स्थापित करने की कोई योजना है?
नई दिल्ली: सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा कि भारतीय विज्ञान संस्थान (आईआईएससी) अन्य स्थानों पर स्थापित करने की उसकी कोई योजना नहीं है.
शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने एक सवाल के लिखित जवाब में राज्यसभा को यह जानकारी दी.
उनसे सवाल किया गया था कि क्या पिछले कुछ वर्षों के दौरान एम्स, आईआईटी और एनआईटी की तर्ज पर भारतीय विज्ञान संस्थान को भी अधिक से अधिक स्थानों पर स्थापित करने की कोई योजना है.
शिक्षा मंत्री ने इसके जवाब में कहा कि भारतीय विज्ञान संस्थान, बेंगलुरु उच्च शिक्षा और अनुसंधान के लिए एक प्रमुख संस्थान है, जिसकी स्थापना धर्मार्थ दान कानून, 1890 के तहत (जेएन टाटा, भारत सरकार और मैसूर के तत्कालीन महाराजा के संयुक्त प्रयास के रूप में) 1909 में की गई थी. बाद में इसे विश्वविद्यालय अनुदान आयोग कानून, 1956 के दायरे में लाया गया.
उन्होंने कहा, ‘यह संस्थान विज्ञान और इंजीनियरिंग में बुनियादी ज्ञान की प्राप्ति और साथ ही अपने शोध निष्कर्षों को औद्योगिक एवं सामाजिक लाभों के लिए लागू करने पर बल देता है. वर्तमान में, भारतीय विज्ञान संस्थान को अन्य स्थानों पर स्थापित करने की कोई योजना नहीं है.’