क्या अडानी समूह में धांधली की जानकारी सेबी ने साल 2014 से छिपाई है?

वीडियो: सुप्रीम कोर्ट में एक हलफ़नामा दायर किया गया, जिसमें अडानी-हिंडनबर्ग मामले की जांच की मांग करने वाले एक याचिकाकर्ता अनामिका जायसवाल ने सेबी पर आरोप लगाया है कि उसने अडानी की ओर से स्टॉक मार्केट में हेराफेरी करने से संबंधित राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) के 2014 के अलर्ट को छिपाया था.

वीडियो: सुप्रीम कोर्ट में एक हलफ़नामा दायर किया गया, जिसमें अडानी-हिंडनबर्ग मामले की जांच की मांग करने वाले एक याचिकाकर्ता अनामिका जायसवाल ने सेबी पर आरोप लगाया है कि उसने अडानी की ओर से स्टॉक मार्केट में हेराफेरी करने से संबंधित राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) के 2014 के अलर्ट को छिपाया था.

अनामिका ने हलफ़नामे में कहा है कि सेबी ने अडानी को बचाने के लिए कई संशोधन किए. इसमें कहा गया है कि सेबी ने सुप्रीम कोर्ट में जो हलफनामा दिया है, उसमें कुछ तथ्यों को छिपाया गया है.

हलफनामे में कहा गया है कि डीआरआई ने 2014 में अडानी समूह की ओर से संयुक्त अरब अमीरात की एक कंपनी से बिजली की कुछ मशीनों के आयात के दौरान ज्यादा मूल्य लगाने के मामले की जांच की थी. उस समय डीआरआई ने सेबी के चेयरपर्सन को एक पत्र लिखकर अडानी समूह की ओर से पैसों की हेराफेरी के जरिये बिजली की कुछ मशीनों के आयात के दौरान ज्यादा मूल्य लगाने का आरोप लगाया था.

डीआरआई को पत्र में एक सीडी भी सौंपी गई थी, जिसमें 2,323 करोड़ रुपये की हेराफेरी का आरोप लगाया गया था, लेकिन सेबी ने सुप्रीम कोर्ट में दिए हलफनामे में डीआरआई के इस अलर्ट को छिपाया है.