महाराष्ट्र के नक्सल प्रभावित ज़िले चंद्रपुर में एक कार्यक्रम के दौरान डॉक्टरों के मौजूद न रहने पर केंद्रीय गृह राज्य मंत्री हंसराज अहिर ने दिया बयान.
मुंबई: महाराष्ट्र के एक सरकारी अस्पताल में आयोजित होने वाले कार्यक्रम में वरिष्ठ डॉक्टरों के अनुपस्थित रहने पर वहां मौजूद केंद्रीय मंत्री हंसराज अहिर ने सोमवार को नाराज़गी ज़ाहिर करते हुए कहा कि अगर उन्हें लोकतंत्र में भरोसा नहीं है तो ऐसे लोगों को नक्सल समूह में शामिल हो जाना चाहिए और तब सरकार उन्हें गोली मार देगी.
पूर्वी महाराष्ट्र के चंद्रपुर लोकसभा क्षेत्र के एक सरकारी अस्पताल में 24 घंटे चलने वाली जेनेरिक दवाइयों की दुकान का उद्घाटन करने के दौरान केंद्रीय गृह राज्य मंत्री बोल रहे थे. अहिर लोकसभा में चंद्रपुर का प्रतिनिधित्व करते हैं.
कार्यक्रम में वरिष्ठ चिकित्सकों के अनुपस्थित रहने पर नाराज़ अहिर ने कहा, ‘कार्यक्रम में महापौर एवं उप महापौर आए हैं लेकिन चिकित्सकों को यहां आने से कौन सी चीज़ रोक रही है.’
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के जन्मदिन (सुशासन दिवस) के अवसर पर आयोजित इस उद्घाटन समारोह में ज़िला सिविल सर्जन उदय नवादे और मेडिकला कॉलेज के डीन एसएस मोरे नहीं पहुंचे थे.
अहिर ने कहा, ‘नक्सली क्या चाहते हैं. वह लोकतंत्र नहीं चाहते हैं. ये लोग (अनपुस्थित चिकित्सक) भी लोकतंत्र नहीं चाहते हैं, तब उन्हें नक्सल समूह में शामिल हो जाना चाहिए. आप यहां क्यों हैं. तब अगर आप नक्सली समूह में शामिल होते हैं हम आपको गोली मार देंगे, आप यहां क्यों गोलियां बांट कर रहे हैं.’ मंत्री ने इस बात आश्चर्य जताया कि जब लोकतांत्रिक तरीके से चुना हुआ एक मंत्री दौरे पर है तो डॉक्टरों का छुट्टी पर जाना उचित है?
We the members having great respect for Mr. Hansraj Ahir, condemn the media for misinterpretation of his words. He has not mentioned anything bad about doctor community in general. He was specific about civil surgeon: Indian Medical Association, Chandrapur #Maharashtra (File pic) pic.twitter.com/6vKOCL4grD
— ANI (@ANI) December 26, 2017
हालांकि मंगलवार को केंद्रीय मंत्री हंसराज अहिर ने कहा कि वह डॉक्टरों का सम्मान करते हैं.
समाचार एजेंसी एएनआई के हवाले से डेक्कन क्रॉनिकल वेबसाइट ने लिखा है कि मंगलवार को हंसराज अहिर ने कहा, ‘उस कार्यक्रम का आयोजनकर्ता ही मौजूद नहीं था. मैंने पूरे डॉक्टरी पेशे के ख़िलाफ़ नहीं, बल्कि कुछ डॉक्टरों के लिए ऐसा बोला था. मैंने जो कुछ भी कहा वह सिर्फ सिविल सर्जन के लिए था. मैं दिल से डॉक्टरों का सम्मान करता हूं. कार्यक्रम में कुछ डॉक्टरों के नहीं रहने पर मैंने अपना गुस्सा ज़ाहिर किया.’
वहीं, इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) की चंद्रपुर शाखा ने कहा है कि हम माननीय हंसराज अहिर का सम्मान करते हैं और उनके बयान को तोड़ मरोड़कर पेश करने के लिए मीडिया की निंदा करते हैं. उन्होंने चिकिस्तक समुदाय के ख़िलाफ़ सामान्य तौर पर कुछ नहीं कहा. उन्होंने सिर्फ सिविल सर्जन के लिए ऐसा कहा.
चंद्रपुर महाराष्ट्र के उन चार ज़िलों में से एक है जिसकी पहचान केंद्र सरकार ने नक्सल प्रभावित ज़िले के तौर पर की है.
(समाचार एजेंसी भाषा से इनपुट के साथ)