राज बब्बर ने इस्तीफ़े का स्पष्ट कारण नहीं बताया. उनसे पहले गोवा में पार्टी प्रमुख शांताराम नाइक ने अपने पद से इस्तीफ़ा दिया था.
पूरे भारतीय उपमहाद्वीप के अभिजात्य और शासक वर्गों में पर्यावरण और सामाजिक-नागरिक प्रतिरोध के केंद्र के रूप में सघन वन्य इलाक़ों को नकारात्मक रूप से देखने की प्रवृत्ति मिलती है.
हिंदी साहित्य के संसार में केदारनाथ सिंह की कविता अपनी विनम्र उपस्थिति के साथ पाठक के बगल में जाकर खड़ी हो जाती है. वे अपनी कविताओं में किसी क्रांति या आंदोलन के पक्ष में बिना शोर किए मनुष्य, चींटी, कठफोड़वा या जुलाहे के पक्ष में दिखते हैं.
साल 2015 में आतंकी संगठन आईएसआईएस ने इन सभी भारतीयों का इराक़ के मोसुल शहर से अपहरण कर लिया था.
केदारनाथ सिंह की कविताओं में सबसे अधिक आया हुआ बिंब वह है जो 'जोड़ता' है. उन्हें वह हर चीज़ पसंद थी जो जोड़ती है. वो चाहे सड़क हो या पुल, शब्द हो या सड़क, जो लोगों को मिलाती है, उनकी आंखों में एक छवि बनकर तैरती रहती और फिर पिघलकर कविता में ढल जाती.
भारतीय चीनी मिल संघ ने कहा कि वे समय पर किसानों को गन्ना मूल्य का भुगतान करने में असमर्थ हैं.
उत्तर प्रदेश के बलिया ज़िले में हुआ जन्म. पेट में संक्रमण की वजह से केदारनाथ सिंह को नई दिल्ली स्थित एम्स में भर्ती कराया गया था.
मीडिया बोल की 41वीं कड़ी में उर्मिलेश सोशल मीडिया पर वायरल हुए अररिया के वीडियो, उपचुनाव परिणाम की मीडिया कवरेज और डिजिटल मीडिया पर अंकुश को लेकर दिए स्मृति ईरानी के हालिया बयान पर चर्चा कर रहे हैं.
मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री ने बताया कि प्राथमिक शिक्षा में अनुसूचित जाति के बच्चों की औसत ड्रॉप आउट दर 4.46, अनुसूचित जनजाति की 6.93 और मुस्लिम समुदाय की 6.54 फीसदी है.
सीबीआई अदालत ने बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्रा समेत 12 लोगों को इस मामले में सबूतों के अभाव में बाइज़्ज़त बरी कर दिया.
कृषि राज्यमंत्री ने बताया कि कृषि ऋण के कारण किसानों की आत्महत्या के बारे में वर्ष 2016 के बाद से कोई आंकड़ा उपलब्ध नहीं है, क्योंकि गृह मंत्रालय ने अभी तक इसके बारे में रिपोर्ट प्रकाशित नहीं किया है.
भारत की मिथकीय कल्पना एक शाकाहारी समाज के तौर पर की जाती रही है, लेकिन किसी भी सामाजिक समूह के खान-पान या आहार की आदतों से जुड़ा कोई दावा पूरी तरह सही नहीं हो सकता.
सरदार सरोवर नर्मदा निगम लिमिटेड के एक अधिकारी ने बताया कि गुजरात के लिए बेहद महत्वपूर्ण बांध का जलस्तर 105.50 मीटर के बहुत नाजुक स्तर पर पहुंच गया है.
केंद्र की मोदी सरकार में सत्ता का जो स्वरूप दिखाई दे रहा है, कुछ वैसा ही स्वरूप माकपा शासित राज्यों में दिखाई देता था.
संयुक्त राष्ट्र द्वारा जारी सूचकांक में भारत 133वें पायदान पर है, जबकि पाकिस्तान 75वें पायदान पर है. सार्क देशों में अफगानिस्तान को छोड़ दिया जाए तो सभी देश भारत से अधिक खुशहाल हैं.