मामला श्रावस्ती ज़िले का है, जहां छेड़छाड़ के आरोप में हिरासत में लिए गए युवक वाजिद का शव लॉकअप में मिला था. युवक के परिजनों के अनुसार भूमि विवाद के चलते झूठे आरोप में फंसाकर वाजिद को गिरफ़्तार करवाया गया और फिर दो लाख रुपये रिश्वत देने से इनकार करने पर पुलिसकर्मियों ने उन्हें प्रताड़ित किया.
बीते 17 जुलाई को उत्तर प्रदेश के अमेठी की रहने वाली मां-बेटी ने भूमि विवाद पर पुलिस की ओर से कथित तौर पर कार्रवाई नहीं किए जाने के विरोध में मुख्यमंत्री कार्यालय के सामने ख़ुद पर मिट्टी तेल छिड़ककर आग लगा ली थी.
यह घटना शुक्रवार शाम को उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ की अत्यंत कड़ी सुरक्षा वाली जगह पर हुई, जहां विधान भवन और लोकभवन हैं. लोक भवन में ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का कार्यालय है. इस मामले में अमेठी के जामो थाने के प्रभारी निरीक्षक सहित तीन पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया गया है.
उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले के उम्भा गांव में जुलाई 2019 में जमीनों पर कथित अवैध कब्जे के खिलाफ जब आदिवासियों और ग्रामीणों ने आवाज उठायी थी, तब भूमाफियाओं के साथ हुए खूनी संघर्ष में 11 लोगों की मौत हो गई थी. इस मामले में सोनभद्र पुलिस ने 65 लोगों को गिरफ्तार किया था और 51 लोगों के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया था.
तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद का मामला. महिला तहसीलदार को जलाने के दौरान कथित आरोपी भी जला. पुलिस ने आरोपी के खिलाफ केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है.
उत्तर प्रदेश के सोनभद्र के उम्भा गांव में हुए 11 आदिवासियों के नरसंहार पर पुलिस ने स्थानीय अदालत में 51 लोगों के खिलाफ आरोपपत्र दायर किया है.
सोनभद्र ज़िले के उभा गांव में 17 जुलाई को ज़मीन विवाद को लेकर हुई हिंसा में दस आदिवासियों की मौत हो गई थी और करीब 24 आदिवासी घायल हुए थे. शुक्रवार को पीड़ितों से मिलने जा रहीं प्रियंका गांधी को मिर्ज़ापुर में रोकने के बाद हिरासत में ले लिया गया था.
सोनभद्र ज़िले के उभा गांव में 17 जुलाई को ज़मीन विवाद को लेकर हुई हिंसा में दस लोगों की मौत हो गई थी और करीब 24 लोग घायल हुए थे. शुक्रवार को पीड़ितों से मिलने जा रहीं प्रियंका गांधी को मिर्ज़ापुर में रोकने के बाद हिरासत में ले लिया गया. कांग्रेस ने कहा, योगी सरकार की तानाशाही का निकृष्टतम उदाहरण.
पहली घटना उत्तर प्रदेश के संभल की है, जहां पुलिसकर्मियों की वैन पर हमला कर बदमाश तीन कैदियों को छुड़ा ले गए और दो पुलिसकर्मियों की हत्या कर दी. दूसरी घटना में सोनभद्र ज़िले में ज़मीन विवाद में तीन महिलाओं समेत नौ लोगों की गोली मारकर हत्या कर दी गई.
सोनभद्र पुलिस ने बताया कि घटना घोरावल के उभा गांव की है. ग्राम प्रधान ने दो साल पहले 90 बीघा ज़मीन ख़रीदी थी. वह अपने कुछ सहयोगियों के साथ जमीन पर कब्जा करने गया था. इसका गांव वालों ने विरोध किया. इस पर प्रधान और उसके लोगों ने गांववालों पर अंधाधुंध गोलियां बरसानी शुरू कर दीं. घटना में 19 लोग घायल हो गए हैं.