बीते साल एयर इंडिया के कुछ पायलटों ने इस्तीफ़े देने के बाद उन्हें स्वीकार किए जाने से पहले ही वापस ले लिया था पर कंपनी ने इसके बावजूद इस्तीफ़े स्वीकार कर लिए. उनका तर्क था कि इस्तीफ़ों को दी गई स्वीकृति पूरी तरह से उचित है क्योंकि कंपनी कई वर्षों से वित्तीय संकट से जूझ रही है.
मोदी सरकार द्वारा सेंट्रल सिविल सर्विसेज (पेंशन) रूल्स, 1972 में किए गए संशोधन के बाद अब रिटायर्ड सुरक्षा अधिकारियों को अपने पूर्व संगठन से संबंधित विषय पर कुछ भी लिखने से पहले सरकार की अनुमति लेनी होगी. इसका उल्लंघन सेवानिवृत्त अधिकारी की पेंशन को ख़तरे में डाल सकता है.
केंद्र सरकार ने कहा है कि खुफ़िया और सुरक्षा संबंधी संस्थानों में काम कर चुके सेवानिवृत्त अधिकारियों को संस्थान प्रमुख को वचन देना होगा कि वे इस प्रकार की सूचना प्रकाशित नहीं करेंगे. ऐसा नहीं करने पर उनकी पेंशन रोक लगा दी जाएगी या वापस ले ली जाएगी. इसके अलावा संगठन प्रमुख फैसला करेगा कि प्रस्तावित सामग्री संवेदनशील है या नहीं.
केंद्र शासित जम्मू कश्मीर प्रशासन ने 'राज्य की सुरक्षा' के ख़िलाफ़ संदिग्ध गतिविधियों वाले सरकारी कर्मचारियों के मामलों की जांच के लिए एक विशेष टास्क फोर्स का गठन किया है. संविधान के अनुच्छेद 311 (2)(सी) के अंतर्गत पारित इस आदेश के तहत सरकार को हक़ है कि वो बिना जांच समिति का गठन किए किसी भी कर्मचारी को बर्ख़ास्त कर दे.
सुप्रीम कोर्ट ने गोवा सरकार के संबंध में यह आदेश दिया, जहां पिछले साल राज्य के क़ानून सचिव को नगरपालिका परिषद का चुनाव कराने के लिए राज्य का चुनाव आयुक्त नियुक्त किया गया था. अदालत ने राज्य सरकारों से कहा कि वे यह सुनिश्चित करें कि राज्य चुनाव आयोग पूरी तरह स्वतंत्र और निष्पक्ष होकर काम करें.
सामान्य प्रशासन विभाग के आयुक्त सचिव की ओर से तीन मार्च को जारी सर्कुलर में कहा गया कि ऐसा देखा गया है कि कुछ विभागों और अधीनस्थ कार्यालयों में संदिग्ध चरित्र और व्यवहार वाले व्यक्तियों को सीआईडी के सत्यापन के बग़ैर वेतन एवं अन्य भत्तों का भुगतान किया जा रहा है.
महाराष्ट्र सरकार द्वारा आठ दिसंबर को जारी परिपत्र के मुताबिक, सभी सरकारी कर्मचारियों को कम से कम शुक्रवार को खादी के कपड़े पहनने चाहिए ताकि हाथ से होने वाली सूतकताई को बढ़ावा मिल सके.
इस क़ानून के लागू होने के बाद अब सरकारी और आवश्यक सेवाओं से जुड़े कर्मचारी 25 मई 2021 तक हड़ताल पर नहीं जा पाएंगे. इससे पहले बीते 22 मई को उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने राज्य में छह महीने के लिए आवश्यक सेवा अनुरक्षण क़ानून (एस्मा) लागू कर हड़ताल पर रोक लगा दी थी.
आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को निर्देश दिया कि वह अपने कर्मचारियों को वेतन और पेंशन के रोके गए हिस्से को 12 प्रतिशत ब्याज के साथ वापस करे. लॉकडाउन के दौरान सरकार ने अपने कर्मचारियों के मार्च और अप्रैल माह के वेतन और पेशन के 50 प्रतिशत हिस्से पर रोक लगा दी थी.
उत्तर प्रदेश सरकार अपने इस कदम से कम से कम 1500 करोड़ रुपये सालाना बचाने का लक्ष्य लेकर चल रही है. सरकार के इस कदम से नाराज प्रदेश के विभिन्न कर्मचारी संघों ने लॉकडाउन के बाद आंदोलन की चेतावनी दी है.
केंद्र ने सरकारी कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के महंगाई भत्ते में अगले साल जुलाई तक कोई वृद्धि नहीं करने का फैसला किया है. इस फैसले का केंद्र सरकार के 50 लाख कर्मचारियों तथा 61 लाख पेंशनभोगियों पर असर पड़ेगा.
एक अन्य सवाल के जवाब में कार्मिक मंत्रालय की ओर से कहा गया है कि 63 मंत्रालयों/विभागों और इनके अधीनस्थ कार्यालयों से प्राप्त जानकारी के अनुसार, एक जनवरी 2018 तक ओबीसी कर्मचारियों की कुल संख्या 3,91,512 थी.
कोई मंत्री या सरकारी कर्मचारी आपराधिक जांच के मुद्दों पर विचार व्यक्त करते हुए अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का दावा कर सकता है या नहीं, इस पर होगा विचार.