प्रधानमंत्री ने मेक इन इंडिया के साथ मेक फॉर वर्ल्ड का नारा दिया, कहा- आत्मनिर्भर भारत ज़रूरी

नई दिल्ली स्थित लाल क़िले की प्राचीर से 74वें स्वतंत्रता दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आत्मनिर्भर भारत की रूपरेखा पेश करते हुए राष्ट्रीय डिजिटल स्वास्थ्य अभियान, हर गांव को ऑप्टिकल फाइबर से जोड़ने की योजना समेत कई घोषणाएं कीं.

प्रधानमंत्री के रूप में मोदी ने जो झंडे गाड़े हैं, तिरंगा उनका रूप नहीं लगता

क्या भगवा झंडे के समर्थक संघ और संघ से जुड़े किसी भी व्यक्ति या दल की तिरंगे के प्रति ईमानदारी पर विश्वास किया जा सकता है?

अब तिरंगे से सुकून नहीं, जुनून पैदा किया जा रहा है

तिरंगा लेकर आप कांवर यात्रा में चल सकते हैं. गणेश विसर्जन में भी उसे लहरा सकते हैं. भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन में विशाल डंडों में बांधकर मोटरसाइकिल पर दौड़ा सकते हैं. तिरंगे से आप मुसलमानों के ख़िलाफ़ हिंसा करने वालों के शव ढंक सकते हैं, लेकिन उससे आप अपनी बेपर्दगी ढंक नहीं सकते!

हमें राजनीतिक आज़ादी तो मिल गई, लेकिन सामाजिक और आर्थिक आज़ादी कब मिलेगी?

आज़ादी के 71 साल: सरकार यह महसूस नहीं करती है कि शिक्षा, स्वास्थ्य, पोषण और सामाजिक सुरक्षा पर किया गया सरकारी ख़र्च वास्तव में बट्टे-खाते का ख़र्च नहीं, बल्कि बेहतर भविष्य के लिए किया गया निवेश है.