पिछले पांच वर्षों में ड्यूटी के दौरान 361 रेलवे कर्मचारियों की मौत हुई: रेल मंत्रालय

रेल मंत्रालय द्वारा राज्यसभा में पेश किए गए आंकड़ों के अनुसार, सबसे अधिक 44 मौतें मध्य रेलवे में हुईं, इसके बाद उत्तर रेलवे में 40 और उत्तर मध्य रेलवे में 31 मौतें हुई हैं. कम आवाज़, तेज़ गति और पटरियों पर मोड़ के कारण ट्रैक मेन और अन्य कर्मचारी विशेष रूप से तेज़ रफ़्तार ट्रेनों की चपेट में आ जाते हैं.

मध्य और पश्चिम रेलवे के 872 कर्मचारी कोरोना संक्रमित अब तक 88 लोगों की मौत: रेलवे

अधिकारियों ने बताया कि 872 संक्रमित कर्मचारियों में से 559 मध्य रेलवे और 313 पश्चिमी रेलवे से हैं. कुछ रेल यूनियनों का दावा है कि 15 जून के बाद लोकल ट्रेन सेवाओं के परिचालन बहाल होने के बाद से रेलकर्मियों के संक्रमित होने की संख्या बढ़ी है.

बिहार में पटरी से उतरी सीमांचल एक्सप्रेस, सात लोगों की मौत

रविवार तड़के चार बजे हुए इस हादसे में कम से कम 29 लोग घायल हो गए हैं. मृतकों के परिजनों के लिए रेल मंत्रालय ने पांच लाख रुपये जबकि बिहार सरकार ने चार लाख रुपये की सहायता राशि की घोषणा की.

क्या बढ़ते रेल हादसों को रोकने का कोई उपाय है?

माल ढुलाई और यात्रियों की संख्या में हुई भारी बढ़ोतरी को ध्यान में रखते हुए देश के ट्रैक नेटवर्क का तत्काल बड़े पैमाने पर पुनरुद्धार किए जाने की ज़रूरत है.