शिक्षाविदों और छात्र संगठनों ने कहा कि बच्चों में वैज्ञानिक स्वभाव पैदा करने के बजाय केंद्र सरकार एनसीईआरटी के ज़रिये पौराणिक कथाओं और विज्ञान को मिलाकर ‘अपनी भगवा विचारधारा थोपने’ की कोशिश कर रही है. चंद्रयान-3 मिशन पर एनसीईआरटी द्वारा जारी एक रीडिंग मॉड्यूल में इसरो और वैज्ञानिकों के योगदान के बजाय प्रधानमंत्री का महिमामंडन किया गया है.
गुजरात, हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश और कर्नाटक के बाद उत्तराखंड ऐसा पांचवां भाजपा शासित राज्य है, जिसने हिंदू धर्मग्रंथों को शामिल करने के लिए अपना स्कूली पाठ्यक्रम संशोधित करने की बात कही है.
अगर शिक्षा को हम ‘मन की किवाड़ों के खुलने’, सृजनात्मकता को नई उड़ान देने की प्रक्रिया के तौर पर देखें तो धर्म उसकी बिल्कुल विपरीत प्रक्रिया की मिसाल के तौर पर सामने आता है, जहां स्वतंत्र विचार को नकारने पर ही ज़ोर रहता है. और जब आप किसी पाठ्यक्रम में धार्मिक ग्रंथ का पढ़ना अनिवार्य कर देते हैं, तब एक तरह से शिक्षा के बुनियादी उद्देश्य को ही नकारते हैं.
गुजरात सरकार के शिक्षा मंत्री जीतू वघानी ने कहा कि गीता में मौजूद नैतिक मूल्यों एवं सिद्धांतों को स्कूली पाठ्यक्रम में शामिल करने का निर्णय केंद्र की नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति की तर्ज़ पर लिया गया है. वहीं, कर्नाटक की भाजपा सरकार ने कहा है कि वह गीता को पाठ्यक्रम में शामिल करने से पहले विशेषज्ञों से चर्चा करेगी.