शेख़ हसीना सरकार गिरने के बाद भारत और बांग्लादेश के बीच हुई पहली विदेश सचिव स्तर की वार्ता में भारत ने बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों की स्थिति पर चिंता जताई थी. जवाब में बांग्लादेश ने इसे अपना आंतरिक मामला बताते हुए टिप्पणी से परहेज़ करने की सलाह दी है.
बांग्लादेश की अंतरिम सरकार ने साल 2009 से 2024 के बीच शेख़ हसीना सरकार द्वारा हस्ताक्षरित सभी प्रमुख बिजली सौदों की समीक्षा करने का निर्णय लिया है, जिसमें अडानी समूह के साथ हुआ सौदा शामिल है.
पश्चिम बंगाल में लोकसभा चुनाव के प्रचार के दौरान भी केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बांग्लादेशी प्रवासियों की तुलना ‘दीमक’ से की थी. अब उन्होंने कहा है कि ममता बनर्जी सरकार घुसपैठियों का समर्थन करती है. 2026 में भाजपा की सरकार बनते ही घुसपैठ पूर्णतया समाप्त होगी.
पिक्चर पोस्टकार्ड: बांग्लादेश का हिंदू चुभती हुई पीड़ा के साथ जी रहा है. अपने मुल्क में वह पराया हो गया है, और भारतीय सत्ता उसे 'दीमक' कह कर लांछित करती आ रही है.
एक कार्यक्रम में होने के लिए भारत आए बांग्लादेश के सूचना एवं प्रसारण मंत्री हसन महमूद ने कहा कि क्षेत्रीय स्थिरता सुनिश्चित करने में भारत की भूमिका से बांग्लादेश को राजनीतिक स्थिरता बनाए रखने में मदद मिली है, जिससे अंतत: देश को विकास के पथ पर आगे बढ़ने में सहायता मिली.