चांद के लिए चंद्रयान-2 रवाना, पृथ्वी की कक्षा में सफलतापूर्वक स्थापित

स्वदेशी तकनीक से निर्मित 3,850 किलोग्राम वज़नी चंद्रयान-2 चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव क्षेत्र में उतरेगा. इसरो के अनुसार यहां अब तक कोई देश नहीं पहुंच पाया है. सितंबर के पहले सप्ताह में चंद्रयान-2 के चांद पर उतरने की उम्मीद है.

चंद्रयान-2 को अब 22 जुलाई को किया जाएगा प्रक्षेपित: इसरो

जीएसएलवी मार्क-III के ज़रिये होने वाला चंद्रयान-2 का प्रक्षेपण 14 जुलाई देर रात 2:51 बजे होना था, लेकिन तकनीकी ख़राबी के कारण इसे रोक दिया गया था.

तकनीकी खामी की वजह से चंद्रयान-2 का प्रक्षेपण टला, नई तारीख की घोषणा बाद में की जाएगी

इसरो ने इससे पहले प्रक्षेपण की तारीख जनवरी के पहले सप्ताह में रखी थी, लेकिन बाद में इसे बदलकर 15 जुलाई कर दिया था. चंद्रयान-2 को जीएसएलवी एमके III रॉकेट के जरिये चांद पर ले जाया जाना था.

इसरो के पूर्व प्रमुख और सबरीमाला मंदिर बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष भाजपा में शामिल

शनिवार को केरल पहुंचे भाजपा अध्यक्ष की मौजूदगी में इसरो के पूर्व प्रमुख जी. माधवन नायर और सबरीमाला का प्रबंधन देखने वाले त्रावणकोर देवासम बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष जी. रमन नायर समेत पांच लोगों ने भाजपा की सदस्यता ग्रहण की.

संसाधनों का अभाव मानव अंतरिक्ष उड़ान कार्यक्रम में बाधक: इसरो के पूर्व प्रमुख

इसरो के अध्यक्ष पद से इस महीने रिटायर हुए एएस किरण कुमार ने कहा कि प्रस्ताव पर एक दशक पहले विचार किया गया था, लेकिन इस पर बहुत प्र​गति नहीं हो सकी.

भारत के सबसे वज़नी रॉकेट से जीसैट-19 उपग्रह का सफल प्रक्षेपण

भारत ने संचार उपग्रह जीसैट-19 को ले जाने वाले सबसे वज़नी रॉकेट जीएसएलवी एमके थ्री-डी1 का सफलतापूर्वक प्रक्षेपण कर इतिहास में अपना नाम दर्ज कर लिया.