विद्यार्थियों के पाठ्येत्तर गतिविधियों में ‘संतों-महात्माओं’ के प्रवचनों को शामिल करने का राजस्थान सरकार का ताज़ा निर्देश संविधान के कई अहम प्रावधानों को नज़रअंदाज़ करता दिखता है.
जन गण मन की बात की 261वीं कड़ी में विनोद दुआ जम्मू कश्मीर में राज्यपाल शासन लागू होने और पानी की कमी पर नीति आयोग की रिपोर्ट पर चर्चा कर रहे हैं.
प्रधानमंत्री दर्जनों बार कश्मीर जा चुके हैं. वे जब भी गए योजनाओं और विकास पर बात करते रहे. कश्मीर मसले को उन्होंने सौर ऊर्जा प्लांट और हाइड्रो प्लांट के शिलान्यास तक सीमित कर दिया. उनकी कश्मीर नीति क्या है, कोई नहीं जानता.
भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव राम माधव की टीम का हिस्सा रहे शिवम शंकर सिंह कहते हैं, ‘मैं 2013 से भाजपा का समर्थक था क्योंकि नरेंद्र मोदी देश के लिए उम्मीद की किरण की तरह लगते थे और मुझे उनके विकास के नारे पर विश्वास था. अब वो नारा और उम्मीद दोनों जा चुके हैं.’
साक्षात्कार: यलगार परिषद के सुधीर धवले की गिरफ़्तारी के साथ दलित समाज के प्रति भाजपा और मीडिया के रवैये पर भारिप बहुजन महासंघ के अध्यक्ष प्रकाश आंबेडकर से प्रशांत कनौजिया की बातचीत.
श्रीराम सेना के प्रमुख प्रमोद मुथालिक के बयान पर विवाद. कांग्रेस ने जताई कड़ी प्रतिक्रिया. विवाद के बाद मुथालिक ने कहा कि गौरी लंकेश की तुलना कुत्ते से नहीं की.
नीति आयोग की ताज़ा रपट तक में कहा गया है कि आधे से ज़्यादा देशवासी या तो प्यासे हैं या दूषित पानी पीने को अभिशप्त. गांवों में यह समस्या इस अर्थ में और विकट है कि वहां 84 प्रतिशत ग्रामीण इसकी ज़द में हैं.
ज़्यादातर वरिष्ठ नौकरशाहों का कहना है कि नरेंद्र मोदी सरकार को लैटरल एंट्री के संबंध में और ज़्यादा स्पष्टीकरण देने की ज़रूरत है.
प्रशासनिक सुधार आयोग के पूर्व अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री वीरप्पा मोइली ने कहा कि यह जल्दबाज़ी में उठाया गया कदम है. मोदी सरकार की घोषणा में पारदर्शिता की कमी है. उसने लैटरल एंट्री की घोषणा की लेकिन कोई नीति पेश नहीं की.
लैटरल एंट्री को लेकर उठ रहे असुविधाजनक सवालों पर सरकार ने जो रुख अपना रखा है, उससे अभी से लगने लगा है कि यह व्यवस्था इतनी पारदर्शी नहीं होने जा रही कि इससे संबंधी सरकार की नीति और नीयत को सवालों से परे माना जा सके.
संयुक्त सचिव स्तर के दस पेशेवर लोगों को सरकार में शामिल करने का ख़्याल सरकार के आख़िरी साल में क्यों आया जबकि इस तरह के सुझाव पहले की कई कमेटियों की रिपोर्ट में दर्ज हैं.
भाजपा के वरिष्ठ नेताओं के मुताबिक यह इस बात का प्रमाण है कि किस तरह मोदी-शाह की जोड़ी पार्टी के आतंरिक लोकतंत्र और उससे जुड़ी परंपराओं को ख़त्म कर रही है.
जन गण मन की बात की 257वीं कड़ी में विनोद दुआ भारतीय जनता पार्टी में कोषाध्यक्ष से जुड़े विवाद और बैड बैंक पर चर्चा कर रहे हैं.
जन गण मन की बात की 256वीं कड़ी में विनोद दुआ दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के उपराज्यपाल के कार्यालय पर धरने और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हत्या की कथित साज़िश पर चर्चा कर रहे हैं.
केंद्रीय रेल मंत्री पीयूष गोयल भाजपा के आखिरी घोषित राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष थे. अभी वह इस पद पर बरकरार हैं या उनकी जगह किसी नए की नियुक्ति की गई है, भाजपा यह बात चुनाव आयोग और आम जनता से छिपा रही है.