सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने 2024 की राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट-यूजी) में शामिल हुए सभी अभ्यर्थियों के अंक जारी कर दिए हैं. लगभग 81,000 अभ्यर्थियों को 600 या उससे अधिक अंक मिले हैं, जबकि 2023 में यह संख्या 29,351 थी.
शिक्षा मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट में दायर हलफनामे में केवल यह स्वीकार किया है कि नीट-यूजी परीक्षा में अनियमितताओं, धोखाधड़ी और कदाचार के मामले सामने आए हैं. सरकार ने पेपर लीक का कोई जिक्र नहीं किया है.
बिहार पुलिस के आर्थिक अपराध इकाई ने कहा है कि अगर एनटीए ने 5 मई को हुई परीक्षा से एक दिन पहले पटना से बरामद जली हुई उत्तर पुस्तिका से मिलान के लिए प्रश्नपत्र के सैंपल उपलब्ध कराए होते, तो नीट-यूजी में अनियमितताओं की जांच अब तक पूरी हो गई होती.
नीट-यूजी 2024 परीक्षा मामले में बिहार की आपराधिक जांंच इकाई ने संदिग्धों के पास से परीक्षा की तारीख (5 मई) को ही कुछ जले हुए कागज़ात बरामद किए थे, जिनकी जांच में पता चला कि इन कागज़ों के 68 सवाल मूल प्रश्नपत्र के समान थे. इतना ही नहीं प्रश्नों के क्रमांक भी मूल प्रश्नपत्र से मेल खाते हैं.
वीडियो: नीट-यूजी 2024 पर पेपर लीक और प्रक्रिया में गड़बड़ी के आरोप लगे हैं, वहीं यूजीसी-नेट (जून 2024) को इम्तिहान के अगले ही दिन रद्द कर दिया गया. परीक्षा करवाने वाले एनटीए और देश में शिक्षा व छात्रों की स्थिति को लेकर दिल्ली यूनिवर्सिटी के शिक्षक डॉ. विजेंद्र सिंह चौहान और छात्रों के साथ चर्चा कर रही हैं मीनाक्षी तिवारी.
एनटीए की स्थापना उच्च शिक्षण संस्थानों में प्रवेश/फेलोशिप हेतु परीक्षा आयोजित करने वाले एक प्रमुख परीक्षा संगठन के रूप में की गई थी. लेकिन इसका रिपोर्ट कार्ड साल दर साल विफलता के नए पैमाने गढ़ रहा है.
समय की हानि हरदयाल पब्लिक स्कूल और विजया सीनियर सेकेंडरी स्कूल, दोनों केंद्रों के अभ्यर्थियों को हुई, लेकिन ग्रेस अंक सिर्फ हरदयाल के छात्रों को मिला. झज्जर के एक अन्य केंद्र पर परीक्षा देने वाली छात्रा कटाक्ष करती हैं, 'मैं कैसे टॉप करती, मेरा सेंटर हरदयाल थोड़े ही था!’
मुरारीलाल का सपना था कि उनके परिवार में कोई डॉक्टर बने और कोई जज. उनके एक पोते ने इस साल न्यायपालिका की परीक्षा पास कर ली थी, लेकिन परिणाम आने के 4 दिन पहले उसकी असामयिक मौत हो गई. मुरलीलाल की पोती नीट में बढ़िया अंक पाकर भी कॉलेज में दाखिले को लेकर सशंकित है.
राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट-यूजी 2024) में कथित विसंगतियों के आरोपों के बीच परीक्षा का आयोजन करने वाली नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने इसकी गवर्निंग बॉडी के अध्यक्ष को ही जांच पैनल का प्रमुख नियुक्त किया है. इस निर्णय के बाद जांच की निष्पक्षता को लेकर सवाल उठाए जा रहे हैं.
बीते पांच मई को राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट-यूजी) में पेपर लीक होने के आरोपों को राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) ने ख़ारिज कर दिया था. अब परीक्षा परिणाम आने के बाद अभ्यर्थियों ने 60 से अधिक छात्रों को पूरे अंक मिलने और आठ टॉपर के एक ही परीक्षा केंद्र से होने पर सवाल खड़े किए हैं.
बीते पांच मई को राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट-यूजी) के बाद से गुजरात और बिहार में पेपर लीक की बात सामने आई है और आपराधिक मामले दर्ज हुए हैं. हालांकि, देश भर में विभिन्न परीक्षाओं को आयोजित कराने वाली राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) पेपर लीक होने के दावों को ख़ारिज कर चुकी है.