जनतंत्र बिना राज्य के मूर्त नहीं होता. वह राज्य का गठन करता है और फिर राज्य सबसे पहले उस जन को सुरक्षित करने के नाम पर अपने अधीन कर लेता है. पर अपने इर्द गिर्द दीवार उठाकर व्यक्ति सुरक्षित होता है या अकेला? कविता में जनतंत्र स्तंभ की छब्बीसवीं क़िस्त.
हाल ही में राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण प्रमुख ने कोरोना संक्रमण को रोकने की दलील देते हुए कहा कि टीकाकरण के लिए चेहरा पहचान तकनीक का प्रयोग किया जा सकता है. हालांकि अधिकार संगठनों ने इसे लोगों की निजता के साथ खिलवाड़ बताया है.
जस्टिस बीएन श्रीकृष्णा की अध्यक्षता में व्यक्तिगत डेटा संरक्षण विधेयक के पहले मसौदे को तैयार किया गया था. हालांकि सरकार ने इसमें कई संशोधन कर दिए हैं, जिसके तहत केंद्र को ये अधिकार मिलता है कि वे ‘देश की संप्रभुता और अखंडता के हित में’ किसी सरकारी एजेंसी को निजता नियमों के दायरे से बाहर रख सकते हैं.