विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र में मरने वालों की संख्या-चादरें छिपाते तंत्र की प्रतिबद्धता

मुर्दे इतने अधिक हो गए कि लाशों को ठिकाने लगाने का सिस्टम बैठ गया. अब वे हिसाब मांगेगी. मृत्यु का, आंसू का, असहाय और अकेले पड़ने का, लुटने का, अस्पताल से लेकर अंतिम यात्राओं तक अपना आत्म सम्मान खोने का. जितना ढंकेंगे, चुप कराएंगे, झूठ बोलेंगे, सच उतना ही साफ होकर सामने आता जाएगा.

कर्नाटक: चामराजनगर ज़िला अस्पताल में ऑक्सीजन की कथित कमी से 24 मरीज़ों की मौत

कर्नाटक के चामराजनगर में ज़िला अस्पताल में ये मौतें पिछले 24 घंटे के दौरान हुई हैं. मृतकों में कोविड-19 के 23 मरीज भी हैं. मृतकों के परिवारों ने आरोप लगाया कि यहां ऑक्सीजन की कमी थी. हालांकि चामराजनगर ज़िला प्रभारी मंत्री ने कहा कि ज़रूरी नहीं कि सभी की मौत ऑक्सीजन की कमी के कारण हुई हो.

केवल सरकार विफल नहीं हुई हैं, हम मानवता के ख़िलाफ़ अपराधों के गवाह बन रहे हैं…

संकट पैदा करने वाली यह मशीन, जिसे हम अपनी सरकार कहते हैं, हमें इस तबाही से निकाल पाने के क़ाबिल नहीं है. ख़ाससकर इसलिए कि इस सरकार में एक आदमी अकेले फ़ैसले करता है, जो ख़तरनाक है- और बहुत समझदार नहीं है. स्थितियां बेशक संभलेंगी, लेकिन हम नहीं जानते कि उसे देखने के लिए हममें से कौन बचा रहेगा.